जानिए कौन हैं वो 4 जज, जिनकी एक प्रेस कांफ्रेंस से हिल गई मोदी सरकार

Edited By Punjab Kesari,Updated: 13 Jan, 2018 01:07 AM

these are 4 judges who press conference against sc

सुप्रीम कोर्ट के चार जजों द्वारा की गई प्रेस कांफ्रेंस ने न सिर्फ देश को हिला दिया बल्कि मोदी सरकार में भी इसको लेकर हड़कंप मच गया। जजों के मीडिया के सामने आने के तुरंत बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद को तलब किया।...

नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट के चार जजों द्वारा की गई प्रेस कांफ्रेंस ने न सिर्फ देश को हिला दिया बल्कि मोदी सरकार में भी इसको लेकर हड़कंप मच गया। जजों के मीडिया के सामने आने के तुरंत बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद को तलब किया। आजाद भारत के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ जब देश की शीर्ष अदालत के वरिष्ठ जज ऐसे मीडिया के सामने आए हैं और कोर्ट प्रशासन के कामकाज पर आरोप लगाया है। इन जजों ने न्यायपालिका में जारी भ्रष्टाचार पर अपनी बात रखी और देश के प्रति अपने फर्ज के लिए भी अपनी निष्ठा जाहिर की।

जानिए कौन है ये 4 जज

PunjabKesari

जस्ती चेलमेश्वर
प्रेस कॉन्फ्रेंस जस्टिस जस्ती चेलामेश्वर के घर में हुई, बाकि के तीनों जज इनके ही घर पर इकट्ठे हुए। आंध्र प्रदेश के कृष्णा जिले में जन्मे जस्टिस चेलमेश्वर केरल और गुवाहाटी हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रह चुके हैं। वकालत उनको विरासत में मिली है। 1976 में उन्होंने आंध्र यूनिवर्सिटी से कानून की डिग्री हासिल की। अक्तूबर, 2011 में वे सुप्रीम कोर्ट के जज बने थे। चेलमेश्वर और रोहिंगटन फली नरीमन की 2 सदस्यीय बेंच ने उस विवादित कानून को खारिज किया जिसमें पुलिस के पास किसी के खिलाफ आपत्तिजनक मेल करने या इलेक्ट्रॉनिक मैसेज करने के आरोप में गिरफ्तार करने का अधिकार था। उनके इस फैसले की देशभर में जमकर तारीफ हुई और बोलने की आजादी को कायम रखा। जजों की नियुक्ति को लेकर नेशनल ज्यूडिशियल अपॉइन्ट्मन्ट्स कमीशन (NJAC) का समर्थन भी इन्होंने किया था। इतना ही नहीं वे पहले से चली आ रही कोलेजियम व्यवस्था की आलोचना भी कर चुके हैं।

PunjabKesari
जस्टिस रंजन गोगोई
जस्टिस रंजन गोगोई असम से के हैं और सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठतम जजों में उनकी गिनती होती है। उनके पिता केशब चंद्र गोगोई असम के मुख्यमंत्री रहे हैं। जस्टिस दीपक मिश्रा अक्तूबर, 2018 में रिटायर होने वाले हैं और गोगोई चीफ जस्टिस बनने की कतार में हैं। अगर वे चीफ जस्टिस चुने जाते हैं तो भारत के पूर्वोत्तर राज्य से इस शीर्ष पद पर काबिज होने वाले वे पहले जस्टिस होंगे। गोगोई ने गुवाहाटी हाईकोर्ट से करियर की शुरुआत की और फरवरी, 2011 में पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश बने। अप्रैल, 2012 में वे सुप्रीम कोर्ट के जज बने।

PunjabKesari
जस्टिस मदन भीमराव लोकुर
जस्टिस मदन भीमराव लोकुर की स्कूली शिक्षा से लेकर कानून शिक्षा तक दिल्ली से ही पूर्ण हुई। 1977 में उन्होंने अपने करियर की शुरुआत की और सुप्रीम कोर्ट और दिल्ली हाईकोर्ट में वकालत की। 2010 में वह फरवरी से मई तक दिल्ली हाईकोर्ट में कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश रहे। इसके बाद जून, 2010 में वह गुवाहाटी हाई कोर्ट में मुख्य न्यायाधीश पद पर चुने गए। वे आंध्र प्रदेश हाई कोर्ट के भी मुख्य न्यायधीश रह चुके हैं।

PunjabKesari
जस्टिस कुरियन जोसेफ
1979 में अपनी वकालत करियर की शुरुआत करने वाले जस्टिस कुरियन जोसेफ साल 2000 में केरलहाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश चुने गए। फरवरी, 2010 में उन्होंने हिमाचल प्रदेश के मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ ली और 8 मार्च, 2013 को वह सुप्रीम कोर्ट में जज बने।

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!