Edited By PTI News Agency,Updated: 07 Apr, 2020 10:03 PM
नयी दिल्ली, सात अप्रैल (भाषा) भारतीय निर्यात संगठनों के संघ (फियो) ने कोरोना वायरस महामारी के निर्यात क्षेत्र पर प्रभाव से निपटने के लिए मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से हस्तक्षेप करने की मांग की। संघ का कहना है कि इस अभूतपूर्व संकट...
नयी दिल्ली, सात अप्रैल (भाषा) भारतीय निर्यात संगठनों के संघ (फियो) ने कोरोना वायरस महामारी के निर्यात क्षेत्र पर प्रभाव से निपटने के लिए मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से हस्तक्षेप करने की मांग की। संघ का कहना है कि इस अभूतपूर्व संकट से बचाव के लिए सरकार एक समग्र राहत पैकेज जारी करे।
प्रधानमंत्री मोदी को लिखे पत्र में फियो के अध्यक्ष एस. के. सर्राफ ने कहा कि वैश्विक स्तर पर कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए विभिन्न देशों में किए गए लॉकडाउन (सार्वजनिक पाबंदी) से निर्यात क्षेत्र प्रभावित हुआ है। इसकी वजह से निर्यात के 50 प्रतिशत से अधिक ऑर्डर रद्द हुए हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘इस चुनौतीपूर्ण समय में हमारे निर्यात क्षेत्र को अभूतपूर्व नुकसान उठाना पड़ेगा। सबसे बुरी मार चमड़ा, कालीन, हस्तशिल्प और परिधानों जैसे जीवनशैली से जुड़े उत्पादों के ऑर्डर पर पड़ी है। इनके 75 प्रतिशत से अधिक ऑर्डर रद्द हो गए हैं। इससे चालू खाते के घाटे पर भी दबाव पड़ेगा । वहीं प्रत्यक्ष विदेशी निवेश, विदेशी पोर्टफोलियो निवेश और भारतीयों के विदेशों से भेजे जाने वाले पैसों में भी कमी आएगी।’’
संघ ने कहा कि यदि इन सभी कारकों को ध्यान में रखते हुए कोई राजकोषीय सहायता उपलब्ध नहीं करायी जाती है तो सार्वजनिक पाबंदी की वजह से बड़े स्तर पर बेरोजगारी बढ़ने का जोखिम भी है। विशेषकर उन क्षेत्रों में जो श्रमिकों पर ज्यादा निर्भर करते हैं। राजकोषीय सहायता से इन उद्योगों की नकदी की समस्या का निराकरण होगा।
सर्राफ ने कहा कि इसलिए सरकार को इस संकट के असर को कम करने के लिए तत्काल आधार पर नीतिगत निर्णय कर इनकी मदद करनी चाहिए। ताकि निर्यात क्षेत्र और अर्थव्यवस्था को ढांचागत नुकसान से बचाया जा सके।
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