Edited By PTI News Agency,Updated: 30 Sep, 2022 05:42 PM
नयी दिल्ली, 30 सितंबर (भाषा) केंद्र सरकार का राजकोषीय घाटा चालू वित्त वर्ष में अगस्त तक 32.6 प्रतिशत पर पहुंच गया। एक साल पहले इसी अवधि में यह 31.1 प्रतिशत था।
नयी दिल्ली, 30 सितंबर (भाषा) केंद्र सरकार का राजकोषीय घाटा चालू वित्त वर्ष में अगस्त तक 32.6 प्रतिशत पर पहुंच गया। एक साल पहले इसी अवधि में यह 31.1 प्रतिशत था।
सरकार के कुल आय और व्यय के बीच अंतर को बताने वाला राजकोषीय घाटा अप्रैल-अगस्त के दौरान वास्तविक रूप से 5,41,601 करोड़ रुपये रहा।
राजकोषीय घाटा सरकार के बाजार से लिये गये कर्ज की स्थिति को बताता है।
महालेखा नियंत्रक (सीजीए) के आंकड़ों के अनुसार, कर समेत सरकार की कुल प्राप्तियां 8.48 लाख करोड़ रुपये रहीं। यह 2022-23 के लिये बजटीय अनुमान का 37.2 प्रतिशत है।
एक साल पहले 2021-22 की इसी अवधि में कुल प्राप्ति बजटीय अनुमान की 40.9 प्रतिशत थी।
कर राजस्व संग्रह सात लाख करोड़ रुपये रहा। यह चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 36.2 प्रतिशत रहा।
केंद्र सरकार का कुल व्यय अप्रैल-अगस्त के दौरान 13.9 लाख करोड़ रुपये रहा जो बजटीय अनुमान का 35.2 प्रतिशत है। यह बीते वित्त वर्ष 2021-22 की इसी अवधि में 36.7 प्रतिशत था।
सरकार ने वित्त वर्ष 2022-23 में राजकोषीय घाटा 16.61 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान रखा है जो जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) का 6.4 प्रतिशत है।
आंकड़ों के अनुसार, पूंजी व्यय अप्रैल-अगस्त के दौरान 2022-23 के बजटीय लक्ष्य का 33.7 प्रतिशत रहा। जबकि एक साल पहले इसी अवधि में यह 31 प्रतिशत था।
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