Edited By ,Updated: 05 Jul, 2015 10:07 AM
हिमाचल प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष बृज बिहारी लाल बुटेल ने कहा कि कुछ लोग ई-विधान प्रोजैक्ट को बदनाम करने में जुटे हैं।
शिमला: हिमाचल प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष बृज बिहारी लाल बुटेल ने कहा कि कुछ लोग ई-विधान प्रोजैक्ट को बदनाम करने में जुटे हैं। उन्होंने कहा कि ऐसे लोगों को यदि प्रोजैक्ट में कोई खामी नजर आती है तो उसे दूर करने में सहयोग करना चाहिए। हिमाचल प्रदेश विधानसभा ई-विधान प्रोजैक्ट से जुडऩे वाली देश की पहली विधानसभा है और दूसरे राज्यों के विधानसभा अध्यक्ष व सचिव इसे देखने यहां आ रहे हैं ताकि अपने राज्य में इसे अपना सकें।
राज्य ने ई-विधान को अपनाकर समय के साथ-साथ 6 हजार पेड़ व 15 करोड़ रुपए की बचत भी की है। बुटेल ने शनिवार को पत्रकार वार्ता में कहा कि विधानसभा परिसर बीते दिन प्रदेश के पहले मुख्यमंत्री डा. यशवंत सिंह परमार की पट्टिका को तोड़े जाने में ई-विधान के कर्मचारियों का कोई हाथ नहीं है। उन्होंने कहा कि विधानसभा परिसर में 2 जुलाई को जो कार्यक्रम हुआ उसे प्रदेश के आईटी विभाग के सहयोग से आयोजित किया गया था जिसमें मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह सहित अन्य नेताओं ने भाग लिया था।
इसी तरह आयोजकों की तरफ से गेट को सजाया गया था और संभवत: इसी कारण पट्टिका टूट गई हो। इसे बंदरों के अलावा शरारती तत्व भी नुक्सान पहुंचा सकते हैं। उन्होंने कहा कि सच्चाई को सामने लाने के लिए मामले की जांच होगी और विधानसभा सचिव सुंदर सिंह वर्मा को इसके लिए अधिकृत किया गया है। इसके लिए सीसीटीवी फुटेज को भी खंगाला जाएगा। उन्होंने पट्टिका के टूटने पर विधायकों से माफी भी मांगी। उन्होंने कहा कि वह भी प्रदेश के पहले मुख्यमंत्री डा. यशवंत सिंह परमार का सम्मान करते हैं।
विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि जहां से पट्टिका टूटी है उसे फिर से वहां पर पहले की तरह लगाया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस संदर्भ में विधायक महेश्वर सिंह की तरफ से जो बयान सामने आया है, उसमें उनको गलतफहमी हो सकती है। उन्होंने पट्टिका के टूटने के बाद वहां पर गिरे कूड़े को न हटाए जाने पर नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि संभवत: सफाई कर्मचारियों को ऐसा करने से रोका गया हो क्योंकि यह नहीं हो सकता कि 11 बजे तक गेट से कूड़ा न हटाया जाए।