Edited By Tanuja,Updated: 05 Jun, 2019 02:24 PM
दुनिया में सबसे तातकतवार देश बनने की महत्वकांक्षा रखने वाले चीन ने अपनी ताकत में इजाफा करते हुए...
बीजिंगः दुनिया में सबसे तातकतवार देश बनने की महत्वकांक्षा रखने वाले चीन ने अपनी ताकत में इजाफा करते हुए बुधवार को पहली बार सफलतापूर्वक जहाज से समुद्र में रॉकेट लॉन्च किया। स्थानीय मीडिया के अनुसार यह कदम उसके महत्वकांक्षी अतंरिक्ष कार्यक्रम का हिस्सा है।
ये हैं खासियतें
- लॉन्ग मार्च 11 रॉकेट को दोपहर के ठीक बाद येलो सी में एक बड़े अर्ध-पनडुब्बी जहाज के जरिए लॉन्च किया गया।
- इस छोटे से रॉकेट के साथ स्पेस में सात सैटेलाइट्स को भेजा गया है।
- इसमें एक ऐसी सैटेलाइट भी शामिल है जो समुद्री सतह की हवाओं को मापकर पहले ही तूफान आने की जानकारी दे देगा।
- इस रॉकेट को ऐसा बनाया गया है जिसे तुरंत तैनात किया जा सकेगा।
- रॉकेट दो संचार सैटेलाइट्स को भी अपने साथ लेकर गया जो चीन 125 से संबंद्ध है।
- यह एक बीजिंग स्थित तकनीकी कंपनी है जो वैश्विक डेटा नेटवर्किंग सेवाएं प्रदान करने के लिए सैकड़ों उपग्रहों को लॉन्च करने की योजना बना रही है।
अमेरिका है खास वजह
हालिया सालों में चीन ने अपने अंतरिक्ष कार्यक्रम को उच्च प्राथमिकता बनाया हुआ है क्योंकि वह अमेरिका के बराबर पहुंचना चाहता है और 2030 तक अंतरिक्ष ताकत के रूप में खुद को स्थापित करना चाहता है। बीजिंग अगले साल अपने स्वयं के मानवयुक्त अंतरिक्ष स्टेशन का निर्माण शुरू करने की योजना बना रहा है। हालांकि चीन का कहना है कि उसकी महत्वाकांक्षाएं पूरी तरह से शांतिपूर्ण हैं।
बता दें कि 27 मार्च को भारत ने अंतरिक्ष में उपग्रह रोधी मिसाइल परीक्षण मिशन शक्ति का परीक्षण करके चीन को निशाना बनाया था। मिशन शक्ति के तहत भारत ने सफलतापूर्वक अपनी ए-सैट क्षमताओं का परीक्षण करने के लिए अपने खुद के उपग्रहों में से एक को नष्ट कर दिया था। अमेरिका ने भारत के इस कार्यक्रम का समर्थन किया था। मिशन शक्ति के जरिए उपग्रह रोधी मिसाइल परीक्षण क्षमताएं हासिल करने के लिए भारत का बचाव करते हुए उसने कहा था कि भारत अंतरिक्ष में पेश आ रहे ‘खतरों से चिंतित है।