Edited By Punjab Kesari,Updated: 09 Aug, 2017 11:22 AM
बारिश आए या तूफान, ट्रैफिक लाइट गुल होने से लगता है लंबा जाम। यह हाल हैं स्मार्ट सिटी कहे जाने वाले चंडीगढ़ के। इस जाम से निपटना यहां तैनात ट्रैफिक कर्मियों के वश से भी बाहर हो जाता है।
चंडीगढ़(संदीप) : बारिश आए या तूफान, ट्रैफिक लाइट गुल होने से लगता है लंबा जाम। यह हाल हैं स्मार्ट सिटी कहे जाने वाले चंडीगढ़ के। इस जाम से निपटना यहां तैनात ट्रैफिक कर्मियों के वश से भी बाहर हो जाता है। ऐसे में अब प्रशासन थैफ्ट फ्री बैटरी बैकअप सिस्टम उतारने जा रहा है। इसे पहले चरण में शहर के 2 बेहद व्यस्ततम लाइट प्वाइंट्स पर लगाया जाएगा और इसके परिणामों के आधार पर ही इसे आगे अन्य लाइट प्वाइंट्स पर लगाए जाने की योजना है। अब देखना यह है कि प्रशासन का यह सिस्टम कितना कारगर साबित होता है।
उपकरण चोरी होने पर सोलर बैकअप सिस्टम हुआ था फेल :
ट्रैफिक लाइट प्वाइंट को रात के समय और बत्ती गुल होने जैसी स्थिति में सोलर एनर्जी पर चलाने के मकसद से कुछ साल पहले प्रशासन ने 2 लाइट प्वाइंट पर सोलर बैकअप सिस्टम लगाया था। इसके तहत प्रशासन ने सैक्टर-27 और 29 ट्रैफिक लाइट प्वाइंट पर यह सिस्टम लगवाया था, मगर यह सिस्टम फेल हो गया। अधिकारियों का कहना था कि लाइट प्वाइंट पर सोलर सिस्टम के सभी उपकरण लगाए गए थे, लेकिन कुछ समय बाद ही उपकरणों के चोरी होने से योजना फेल हो गई।
यह है थैफ्ट फ्री बैटरी बेकअप सिस्टम :
थैफ्ट फ्री बैटरी बैकअप सिस्टम के तहत अब प्रशासन लाइट प्वाइंट के खम्बों पर उपकरण लगाएगा। ये उपकरण पहले नीचे बॉक्स में लगाए जाते थे। अब खंभों पर ऊंचाई पर लगे इस सिस्टम को कोई चोरी नहीं कर पाएगा। खंभों की ऊंचाई पर ही इस सिस्टम को पूरी सुरक्षा के इंतजामों के तहत इंस्टाल किया जाएगा। इस सिस्टम का 2 घंटे का बैकअप होगा। यानि बत्ती गुल होने की स्थित में ट्रैफिक लाइंट प्वाइंट ऑटोमेटिकली इस सिस्टम से चलेगी और 2 घंटे तक ट्रेफिक लाइट इस सिस्टम के जरिए उसी तरह से सुचारू तौर पर चलती रहेगी।