Edited By pooja verma,Updated: 08 Jun, 2019 10:01 AM
जी.एम.सी.एच.-32 में एक लापरवाही का मामला सामने आया है।
चंडीगढ़ (पाल) : जी.एम.सी.एच.-32 में एक लापरवाही का मामला सामने आया है। इलाज में हुई देरी के कारण मरीज की उंगली काटनी पड़ी। मनीमाजरा के प्रेम अग्रवाल (39) की बाएं हाथ की उंगली पेपर कटिंग मशीन में आने से आधी कट गई थी।
जल्दबाजी में उंगली पर कपड़ा बांधकर वह सैक्टर-6 पंचकूला के अस्पताल गए। वहां डाक्टरों ने पट्टी व पेन किलर के इंजैक्शन लगाकर मरीज को जी.एम.सी.एच.-32 रैफर कर दिया।
इंतजार कर सकते हो तो ठीक, वरना दूसरे अस्पताल जा सकते हो
प्रेम ने बताया कि जी.एम.सी.एच.-32 पहुंचने पर डाक्टरों ने उसे इंजैक्शन लगाए और यह कहकर इलाज करने की बात कही कि आपका ट्रीटमैंट शुरू होने में कम से कम 2 या 3 घंटे लगेंगे।
अगर आप इंतजार कर सकते हैं, तो ठीक है, वरना किसी दूसरे अस्पताल जा सकते हैं। तीन घंटे इंतजार के दौरान मरीज का एक्स-रे करवाया गया, लेकिन 4 घंटे इंतजार के बाद मरीज को कहा गया कि आपका ऑपरेशन अब अगली सुबह होगा।
रिलीव करने से भी किया मना
मरीज व परिजन यह सुनकर घबरा गए कि अब ऑपरेशन अगले दिन होगा। इसके बाद उन्होंने दूसरे अस्पताल जाने के लिए ड्यूटी पर तैनात डाक्टरों से मरीज को रिलीव करने की गुजारिश की तो डॉक्टरों ने इससे भी मना कर दिया।
प्रेम के मुताबिक डाक्टरों ने कहा कि अगर आपको इलाज ही नहीं करवाना था तो एडमिट क्यों हुए। काफी कहासुनी के बाद जब डिस्चार्ज को सहमति हुई तो कहा गया कि कम से कम डिस्चार्ज होने में 5 घंटे लगेंगे।
इंफैक्शन का खतरा था, समय पर इलाज होता तो बच सकती थी उंगली
जी.एम.सी.एच. से डिस्चार्ज होने के बाद मरीज को लेकर उसके घरवाले एक प्राइवेट हॉस्पिटल ले गए, जहां डाक्टरों ने कहा कि अगर टाइम पर इलाज हो जाता तो उंगली जोड़ी जा सकती थी, लेकिन अब इंफैक्शन का खतरा बन गया है।
ऐसे में उंगली को कटना ही पड़ेगा। प्रेम पेपर कटिंग का काम करते हैं ऐसे में उंगली गंवाने के बाद उनके काम पर भी इसका असर पड़ रहा है। उन्होंने बताया कि अगर टाइम पर उन्हें इलाज मिल जाता तो उनकी उंगली बचाई जा सकती थी।