नीदरलैंड की NGO ने पाक में प्रेस की आजादी को लेकर उठाई आवाज, बिलावल ने भी इमरान सरकार पर साधा निशाना

Edited By Tanuja,Updated: 04 May, 2021 02:33 PM

action should be taken against lack of press freedom in pakistan ngo

नीदरलैंड स्थित एक NGO ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के समक्ष पाकिस्तान में प्रेस की आजादी को लेकर आवाज उठाई है। NGO का आरोप है कि ...

इंटरनेशनल डेस्कः नीदरलैंड स्थित एक  NGO ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के समक्ष  पाकिस्तान में प्रेस की आजादी को लेकर आवाज उठाई है।  NGO  का आरोप है कि पाकिस्तानी सेना के खिलाफ बोलने की हिम्मत करते पत्रकारों गंभीर खतरे में हैं । विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर एक पत्र में ग्लोबल ह्यूमन राइट्स डिफेंस NGO ने मांग की कि पिछले कुछ वर्षों में पाकिस्तान में विशेष रूप से बलूचिस्तान, सिंध और बाल्टिस्तान में  प्रेस की स्वतंत्रता को कुचला गया और पत्कारों पर हमले बढ़े हैं। 

 

NGO ने पत्र में स्वतंत्रता नेटवर्क की एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए बताया कि मई 2019 और अप्रैल 2020 के बीच  पाकिस्तान में प्रेस के सदस्यों के खिलाफ हमलों और उल्लंघन के 90 से अधिक मामले सामने आए हैं । पत्र में लिखा गया है, "इसका मतलब है कि पाकिस्तान में प्रेस की स्वतंत्रता का घोर अभाव है। रिपोर्टर्स का मानना ​​है कि सरकार में बढ़ते सैन्य प्रभाव के कारण पत्रकारों पर हमले काफी बढ़ गए हैं।" प्रेस फ्रीडम 2021 की फ्रीडम नेटवर्क की वार्षिक स्थिति के अनुसार  पाकिस्तान पत्रकारिता का अभ्यास करने के लिए सबसे जोखिम वाली जगह के रूप में उभरा है।

 

द न्यूज इंटरनेशनल के अनुसार पत्रकारों और मीडिया सहित इसके चिकित्सकों के खिलाफ हमलों और उल्लंघनों के कम से कम 148 मामले मई 2020 और अप्रैल 2021 के बीच  के दौरान हुए। बता दें कि पाकिस्तान पत्रकारों के लिए दुनिया के सबसे खतरनाक देशों में एक है। साल 2000 के बाद से यहां 140 से ज्यादा पत्रकारों की हत्या हुई है। फ्रीडम नेटवर्क के रिपोर्ट में इसकी जानकारी दी गई है। पिछले साल 33 पत्रकारों की हत्या के मामलों में सौ फीसदी दोष मुक्त हो गए और किसी को भी कोई सजा नहीं हुई। यहां के अधिकांश बड़े मीडिया हाउस सरकार से प्रताड़ित हो रहे हैं।

 

अपनी कमियों को छिपाने के लिए मीडिया का गला घोंट रही इमरान सरकारः बिलावल भुट्टो
उधर, पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (PPP) के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो जरदारी ने कहा है कि सरकार धमकी और दबाव के जरिये मीडिया का गला घोंट रही है। बिलावल ने कहा कि सरकार जनता से अपने गैर-कानूनी कामों, भ्रष्टाचार और अक्षमता को जनता से छिपाना चाहती है। इमरान सरकार ने अपने मुताबिक न बोलने वाले एंकरों और स्वतंत्र पत्रकारों को टीवी स्क्रीन से हटवा दिया, जो अब इंटरनेट मीडिया पर अपने विचार रख रहे हैं। बिलावल ने यह बात विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस पर कही।बिलावल ने सरकार को चेतावनी दी कि स्वतंत्र मीडिया के दमन के कारण लोगों में असंतोष बढ़ रहा है और यह किसी समय फूट सकता है।

 

उन्होंने कहा कि मीडिया को दबाव से मुक्त किया जाना चाहिए।  इसके अलावा पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज के महासचिव अहसान इकबाल ने कहा है कि चुनावों में लगातार हार का सामना करने के बाद अब तहरीक ए इंसाफ पार्टी इलेक्ट्रोनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) से चुनाव कराना चाहती है। उन्होंने कहा कि पिछले तीन साल में सत्ता पक्ष के जेहन में यह विचार नहीं था, लेकिन अब उप-चुनावों में लगातार हार के बाद यह निर्णय लेने पर विचार किया जा रहा है।


 

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