Edited By Tanuja,Updated: 27 Jul, 2022 05:14 PM
चीन की तरफ से धरती पर फिर एक और बड़ी आफत आने वाली है। चीन का एक और रॉकेट बेकाबू होकर धरती पर गिरने वाला है। इस रॉकेट ने दुनिया की...
बीजिंग: चीन की तरफ से धरती पर फिर एक और बड़ी आफत आने वाली है। चीन का एक और रॉकेट बेकाबू होकर धरती पर गिरने वाला है। इस रॉकेट ने दुनिया की चिंताएं बढ़ा दी हैं। पिछले साल ही हिंद महासागर में एक ऐसा ही चीनी रॉकेट क्रैश हुआ था और उसके मलबे की वजह से पर्यावरण को खासा नुकसान हुआ था। विशेषज्ञों को चिंता सता रही है कि रविवार को चीन ने जो 21 टन का रॉकेट मार्च 5बी लॉन्च किया था, वो अब धरती के वातावरण में ब्लास्ट होने को है। विशेषज्ञ मान रहे हैं कि धरती में दाखिल होते ही ये रॉकेट पूरी तरह से जल जाएगा। ये अचानक सतह पर आएगा और किसी अज्ञात जगह पर पूरी स्पीड से गिरेगा।
इस बात की आशंका थोड़ी कम है कि इसका मलबा उस जगह पर गिरेगा जहां पर काफी आबादी है लेकिन विशेषज्ञों को इस बात की चिंता है कि चीन बेवजह दुनिया में खतरा बढ़ाता जा रहा है।चीन ने पिछले हफ्ते हैनान स्थित वेनचांग लॉन्च साइट से एक रॉकेट लॉन्च किया था। ये रॉकेट सौर ऊर्जा से चलने वाली नई लैब को लेकर रवाना हुआ था जिसमें वेनतियान एक्सपेरिमेंट मॉड्रयूल था। इसे चीन के तियांगॉन्ग स्पेस स्टेशन तक जाना था। मगर अब पिछले साल मई की ही तरह इस बार भी धरती पर क्रैश होने की आशंका है। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के प्रशासक बिल नेल्सन ने चीन पर गैर-जिम्मेदाराना रवैये का आरोप लगाया है।
उन्होंने कहा है कि चीन जिम्मेदारी से मानकों को नहीं मान रहा है और अंतरिक्ष के मलबे को लेकर बहुत ही लापरवाह है। उन्होंने कहा कि चीन रॉकेट के फिर से धरती में दाखिल होने वाले खतरों को कम नहीं कर पा रह है और न ही वो अपने अंतरिक्ष कार्यक्रम को लेकर पारदर्शी है।चीन का ये रॉकेट लॉन्चिंग के समय ही ब्लास्ट हो गया था। अब आने वाले दिनों में ये धरती का चक्कर लगाता रहेगा। इसके कुछ दिनों बाद ही ये सतह पर वापस लौटेगा।
विशेषज्ञों की मानें तो फ्लाइट के रास्ते में बहुत मुश्किलें आई हैं क्योंकि सूरज की गतिविधियों में बदलाव की वजह से पर्यावरण में भी काफी उतार-चढ़ाव देखे गए। विशेषज्ञों की मानें तो चीन के रॉकेट के साथ सबसे बड़ी समस्या लॉन्च प्रक्रिया और इसके डिजाइन की है। चीन ने इन सभी आरोपों को खारिज कर दिया है कि वो अंतरिक्ष के कार्यक्रम को लेकर गैरजिम्मेदार है। चीनी विदेश मंत्रालय की तरफ से कहा गया है कि रॉकेट की वजह किसी को होने वाले नुकसान की आशंका बहुत कम है।