Edited By Tanuja,Updated: 20 Jun, 2018 02:05 PM
विदेश घूमने गई एक ब्रिटिश महिला के साथ रेप और लूटपाट के बाद दिखाई महिला की बहादुरी की चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है। महिला मोटरसाइकिल से बोलिविया घूमने पहुंची थी और टैंट लगाकर रह रही थी। यहां एक गैंग के तीन युवकों ने महिला को टैंट से बाहर निकालकर...
लंदनः विदेश घूमने गई एक ब्रिटिश महिला के साथ रेप और लूटपाट के बाद दिखाई महिला की बहादुरी की चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है। महिला मोटरसाइकिल से बोलिविया घूमने पहुंची थी और टैंट लगाकर रह रही थी। यहां एक गैंग के तीन युवकों ने महिला को टैंट से बाहर निकालकर पीटा और फिर चाकू की नोक पर उससे रेप किया। इसके बाद कीमती सामान और पैसे लूटपाट कर उसे मरने के लिए छोड़ गए। हालांकि, इस हमले के बाद महिला बच गई और उसी अंजान देश में रुककर अपने हर एक जख्म का बदला लिया।
37 साल की बाइकर वैसीलिसा कोमारोवा बाइक से दुनिया घूमने निकली थी। उन्होंने 14 महीने पहले चिली से अपना सफर शुरू किया था और पिछले साल जून में अकेले बोलिविया घूमने पहुंची थीं। वो होन्डा टोर्नाडो 250 बाइक से 6000 मील का सफर तय कर चुकी थी। अपने सफर के दौरान वो टैंट लगाकर जगह-जगह रुक रही थीं और आराम कर रही थीं। बोलिविया के सफर के दौरान वो एक दिन टैंट में आराम कर रही थीं कि तभी तीन युवक टैंट में घुस आए अकेला पाकर उसे मारा-पीटा और उनसे लूटपाट की। इसके बाद तीनों ने चाकू की नोंक पर रेप किया और उन्हें मरने के लिए छोड़ गए।
युवकों की उम्मीद के उलट वैसीलिसा हमले में जिंदा बच गईं। हालांकि, उसने डर सहम कर अपने देश लौटने के बारे में नहीं सोचा। इस बीच उसे सबने यही समझाया कि अपने देश लौट जाएं लेकिन वो इंसाफ के लिए यहीं जमी रहीं। करीब एक साल बाद उन्होंने आरोपियों को सलाखों के पीछे पहुंचाया। तीनों आरोपियों को 42 साल कैद की सजा सुनाई गई है।वैसीलिसा मूल तौर पर रूस की हैं, लेकिन 20 साल की उम्र में मॉस्को से लंदन आ गई थीं। यहां उन्हें ब्रिटिश सिटीजनशिप मिल चुका है। बोलिविया में रहते हुए उन्हें इंसाफ के लिए काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ा। यहां तक कि बोलिविया की सरकार भी उनके खिलाफ हो गई, लेकिन उन्हें ब्रिटिश कॉन्स्युलेट से काफी मदद मिली।