Edited By Yaspal,Updated: 30 Apr, 2019 06:09 PM
तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) ने चुनाव आयोग से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नामांकन रद्द करने की मांग की है। पार्टी का कहना है कि मोदी के हाल के भाषणों से खरीद फरोख्त के संकेत मिल रहे हैं। इसलिए ऐसे उत्तेजक और अलोकतांत्रिक बयानों के लिए उनका नामांकन रद्द...
नेशनल डेस्कः तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) ने चुनाव आयोग से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नामांकन रद्द करने की मांग की है। पार्टी का कहना है कि मोदी के हाल के भाषणों से खरीद फरोख्त के संकेत मिल रहे हैं। इसलिए ऐसे उत्तेजक और अलोकतांत्रिक बयानों के लिए उनका नामांकन रद्द किया जाए।
सोमवार को श्रीरामपुर में आयोजित एक चुनावी रैली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दावा किया था कि टीएमसी के 40 विधायक उनके संपर्क में हैं और लोकसभा चुनाव में भाजपा की जीत के बाद वे पार्टी छोड़ देंगे। आयोग को लिखे एक पत्र में तृणमूल ने ऐसे निराधार, अनुचित और अवैध अभियान और बयान के लिए मोदी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की।
आयोग को लिखे एक पत्र में टीएमसी ने कहा कि हम खरीद-फरोख्त के संबंध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के झूठ को आपके संत्रान में लाना चाहतते हैं। उन्होंने संकेत दिया था कि ऑल इंडिया तृणमूल कांग्रेस (एआईटीसी) के सदस्य भारतीय जनता पार्टी के खेमे में आ जाएंगे और इस झूठ का इस्तेमाल करके मतदाताओं को प्रभावित कर रहे हैं।
टीएमसी ने कहा, "आपसे प्रार्थना की जाती है कि वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से पूछें कि उनके कथन के साक्ष्य कहां हैं। अगर वे ऐसा नहीं कर पाते हैं तो उनका नामांकन ऐसे भड़काऊ और अलाकतांत्रिक बयानों को आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन मानते हुए रद्द किया जाए।
टीएमसी ने कहा कि प्रधानमंत्री के द्वारा इस तरह के बयान अशोभनीय है। वह मतदाताओं को भाजपा के पक्ष में प्रभावित करने का प्रयास कर रहे हैं। वह एक गलत मंशा से उसके दिमाग में यह छाप छोड़ना चाह रहे हैं कि तृणमूल के कई विधायक उनके संपर्क में हैं और वे पार्टी छोड़ सकते हैं।