लिंग निर्धारण की सूचनाओं पर न्यायालय ने गूगल, याहू और माइक्रोसाफ्ट को दिए निर्देश

Edited By ,Updated: 16 Nov, 2016 01:11 PM

court  information  determine  google  yahoo microsoft instructions

उच्चतम न्यायालय ने गूगल, याहू और माइक्रोसाफ्ट जैसे सर्च इंजन से आज कहा कि...

नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने गूगल, याहू और माइक्रोसाफ्ट जैसे सर्च इंजन से आज कहा कि वे 36 घंटे के भीतर अपनी साइट से भारत में प्रसव पूर्व लिंग निर्धारण संबंधी विज्ञापनों को हटायें। न्यायालय ने इसके साथ ही केन्द्र सरकार को निर्देश दिया कि इन वेबसाइट की निगरानी के लिए एक नोडल एजेन्सी नियुक्त की जाए। 

न्यायमूर्ति दीपक मिश्रा और न्यायमूर्ति अमिताव राय की पीठ ने कहा कि ये नोडल एजेन्सी इन सर्च इंजन को उनकी वेबसाइट पर एेसे किसी भी विज्ञापन के बारे में सूचित करेगी और गूगल, माइक्रोसाफ्ट और याहू की भारतीय शाखायें एेसे किसी भी विज्ञापन को 36 घंटे के भीतर हटायेंगे। पीठ ने कहा,‘‘हम केन्द्र सरकार को एक नोडल एजेन्सी गठित करने का निर्देश देते हैं जो टीवी, रेडियो और समाचार पत्रों में विज्ञापन देगी कि यदि किसी व्यक्ति को एेसी कोई जानकारी मिलती है जिसमें प्रसव पूर्व चरण में लिंग की पहचान की जाती है तो वह इसे नोडल एजेन्सी के संज्ञान में लायेगा। एक बार नोडल एजेन्सी के संज्ञान में आने पर वह इन सर्च इंजन को सूचित करेगा और वे एेसी सूचना मिलने के बाद 36 घंटे के भीतर इसे अपनी वेबसाइट से हटाने और नोडल एजेन्सी को इसकी सूचना देने के लिये बाध्य होंगे।’’  

शीर्ष अदालत इस मामले में अब 17 फरवरी को आगे विचार करेगी। न्यायालय ने कहा कि यह अंतरिम व्यवस्था प्रसव पूर्व लिंग निर्धारण से संबंधित विज्ञापनों के मसले पर उसके समक्ष पूरी बहस होने तक जारी रहेगी। इस मामले की सुनवाई के दौरान पीठ ने देश में लिंग अनुपात में हो रही गिरावट पर चिंता व्यक्त की और कहा कि ‘‘लड़का होगा या लड़की’ जैसी जानकारी भारत में जरूरी नहीं है। लिंग अनुपात यहां गिरता जा रहा है आेर हम इसे लेकर चिंतित हैं।

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!