Edited By Yaspal,Updated: 20 Aug, 2018 07:51 PM
कोटा की 12वीं कक्षा की एक छात्रा ने यू-ट्यूब की मदद से ऐसा सुरक्षा यंत्र विकसित किया है जिसे किसी भी महिला की हाथ में पहनने वाली घड़ी से जोड़ा जा सकता है जो उसे बगैर इंटरनेट के आपात स्थिति में परिवार के सदस्यों को अलर्ट भेजने में मदद कर सकता है।
जयपुरः कोटा की 12वीं कक्षा की एक छात्रा ने यू-ट्यूब की मदद से ऐसा सुरक्षा यंत्र विकसित किया है जिसे किसी भी महिला की हाथ में पहनने वाली घड़ी से जोड़ा जा सकता है जो उसे बगैर इंटरनेट के आपात स्थिति में परिवार के सदस्यों को अलर्ट भेजने में मदद कर सकता है। भव्या अग्रवाल ने बताया कि उसने भारत के प्रधानमंत्री की आधिकारिक नमो एप्प पर परियोजना की जानकारी अपलोड की है क्योंकि उसे इस यंत्र को सूक्ष्म आकार में बनाने के लिए फंड की आवश्यकता है।
उसने बताया कि अभी यह यंत्र करीब 500 ग्राम का है। गणित और विज्ञान विषय में रुचि रखने वाली भव्या ने कहा, ‘‘महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराध ने मुझे उनके लिए एक ऐसा यंत्र विकसित करने के लिए प्रेरित किया जिससे जरुरत के समय उन्हें तुरंत मदद मिल सकें और जरुरत पडऩे पर इसे परिवार की निगरानी में रखा जा सकता है।’’
भेजता है जीपीएस अलर्ट या लोकशन की जानकारी
यूट्यूब से मदद लेकर भव्या ने ऐसा यंत्र बना दिया जो बगैर इंटरनेट या डाटा कनेक्शन के किसी महिला के आपात स्थिति में होने पर उसके परिवार वालों को जीपीएस के जरिए एक अलर्ट या स्थान की जानकारी भेजता है। छात्रा ने बताया कि यंत्र में जीपीएस मॉड्यूल ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम उपग्रहों से सीधे जुड़ा हुआ है जो उसे बगैर इंटरनेट कनेक्शन के संदेश और कॉल भेजने या रिसीव करने की अनुमति देता है।
भव्या ने कहा, ‘‘एक महिला को संदेश भेजने के लिए बस बटन दबाना होगा जो 10 सेकेंड के भीतर परिवार के सदस्यों के मोबाइल फोन पर भेज दिया जाएगा। इसमें फोन करने के लिए दूसरा बटन होगा।’’ भव्या की खोज के लिए कोटा के जिला प्रशासन ने यहां उम्मेद स्टेडियम में 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस समारोह के मौके पर उसे सम्मानित किया।
भव्या वैज्ञानिक या आविष्कारक बनना चाहती है ताकी लोगों खासतौर से महिलाओं के लिए कुछ कर सकें। इलेक्ट्रॉनिक्स का कारोबार करने वाले भव्या के पिता परेश अग्रवाल अपनी बेटी की इस उपलब्धि पर खुश हैं।