Edited By Punjab Kesari,Updated: 30 Jan, 2018 01:36 PM
वित्त मंत्री अरुण जेटली 1 फरवरी को आम बजट पेश करेंगे। आम आदमी को इस बजट में क्या मिलेगा और क्या ऐसा होगा जो उसके हाथ से छूट जाएगा, इस पर कयासों और अनुमानों का सिलसिला जारी है। आम से लेकर खास लोगों ने बजट से कई उम्मीदें पाली हैं। इन उम्मीदों में से...
नई दिल्लीः वित्त मंत्री अरुण जेटली 1 फरवरी को आम बजट पेश करेंगे। आम आदमी को इस बजट में क्या मिलेगा और क्या ऐसा होगा जो उसके हाथ से छूट जाएगा, इस पर कयासों और अनुमानों का सिलसिला जारी है। आम से लेकर खास लोगों ने बजट से कई उम्मीदें पाली हैं। इन उम्मीदों में से कितनी सच होती हैं, यह 1 फरवरी को पता चलेगा। फिलहाल जानिए लोगों को इस बार बजट से क्या उम्मीदे हैं।
टैक्स स्लैब्स
आयकर पर मिलने वाली छूट की सीमा मौजूदा 2.5 लाख से बढ़ाकर 3 लाख रुपए किया जाए। आयकर के मौजूदा टैक्स स्लैब्स में बदलाव कर छूट को बढ़ाया जाए। इसके लिए जहां फिलहाल 10 फीसदी टैक्स लगता है, उसे 5 से 7 फीसदी किया जाए।
घर खरीदना और जीएसटी
होम लोन पर मिलने वाली टैक्स छूट को बढ़ाया जाए ताकि घर खरीदने में होने वाला खर्च कम हो सके। स्टांप ड्यूटी में भी राहत मिले। रियल इस्टेट जीएसटी के तहत आए। इससे घर खरीदना सस्ता हो सकता है। जीएसटी टैक्स स्लैब को कम किया जाए और इसे छोटे कारोबारियों के लिए आसान किये जाने का इंतजाम हो।
रोजगार
देश में रोजगार के ज्यादा मौके पैदा हों। इसके लिए रोजगार नीति लाई जाए। नया कारोबार शुरू करने के लिए प्रोत्साहन मिले, ताकि नए रोजगार पैदा हों।
पेट्रोल-डीजल
पेट्रोल-डीजल पर लगने वाली एक्साइज ड्यूटी घटाई जाए ताकि बढ़ती कीमतों से राहत मिले। पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के तहत लाने का पुख्ता इंतजाम बजट में हो।
सेविंग्स
सेक्शन 80सी के तहत निवेश पर मिलने वाली छूट को 2 लाख से ज्यादा कर दिया जाए। इस स्कीम में मौजूदा स्कीम के अलावा लॉ रिस्क बॉन्ड स्कीम को भी शामिल किया जाए।
कारों पर कम किया जाए GST
कारों पर लगने वाली जीएसटी रेट को कम किया जाए। ताकि इन्हें खरीदना सस्ता हो। इलेक्ट्रिक कारों को बढ़ावा देने के साथ ही इन पर लगने वाले जीएसटी रेट को 5 फीसदी रखें।
रेलवे
रेलवे से सफर सुरक्षित करने के लिए आधुनिक तकनीक के उपयोग को बढ़ावा देने के अलावा अन्य इंतजाम किए जाएं। रेल टिकट बुक कराना सस्ता हो तथा ऑनालाइन बुक करने पर कुछ इंसेंटिव मिले।
स्वास्थ्य
कंपनियों की तरफ से दिए जाने वाले मेडिकल अलाउंस पर टैक्स छूट बढ़े ताकि कंपनियां कर्मचारियों को ज्यादा अलाउंस दें। निजी अस्पतालों को जवाबदेह बनाया जाए और बेतहाशा स्वास्थ्य खर्च को नियंत्रित करने के लिए कदम उठाए जाएं।
वरिष्ठ नागरिक
पेंशन प्लान को टैक्स फ्रेंडली बनाया जाए और एनपीएस पर मिलने वाली टैक्स छूट का दायरा बढ़े। वरिष्ठ नागरिकों के लिए आयकर सीमा को बढ़ा दिया जाए।
शिक्षा
एजुकेशन लोन की ब्याज दर पर मिलने वाली छूट को मौजूदा 8 साल से बढ़ाने की जरूरत है। देश में शिक्षा क्षेत्र की हालत सुधारने के लिए बजट आवंटन बढ़े ताकि सर्व शिक्षा अभियान जैसे अभियानों को रफ्तार मिल सके।
कृषि
किसानों की आय दुगुनी करने के लिए पहला कदम न्यूनतम समर्थन मूल्य बढ़ाने के तौर पर उठाया जाए। कृषि की बिगड़ती स्थिति को संभालने के लिए कीटनाशकों समेत अन्य चीजों को सस्ता किया जाए।
कैशलेस लेनदेन
कार्ड से भुगतान करने पर लगने वाले एमडीआर चार्ज छूट की सीमा को 2000 के लेनदेन से ज्यादा किया जाए। रेलवे से टिकट बुक करने के दौरान एमडीआर चार्ज से आम आदमी को छूट मिले।
बीमा
टर्म, हेल्थ और होम इंश्योरेंस को अनिवार्य किया जाए, लेकिन इसके प्रीमियम पर टैक्स छूट मिले। इंश्योरेंस खरीदने के लिए आम लोगों को प्रोत्साहित करने की खातिर कुछ प्रोत्साहन की घोषणा बजट में हो