सेबी 4200 फर्माें की सूचीबद्धता समाप्त करेगा

Edited By ,Updated: 25 May, 2016 06:47 PM

sebi uk sinha

बाजार नियामक सेबी की 4200 से अधिक उन सूचीबद्ध कम्पनियों की सूचीबद्धता समाप्त करने की योजना है

मुंबई: बाजार नियामक सेबी की 4200 से अधिक उन सूचीबद्ध कम्पनियों की सूचीबद्धता समाप्त करने की योजना है जिनके शेयरों में कोई कारोबार नहीं हो रहा तथा निवेशकों को शेयर बेच कर निकलने का अवसर देने से इनकार करने वाले प्रवर्तकों के खिलाफ कड़ी दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी।  

 

भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के चेयरमैन यू के सिन्हा ने आज यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि उक्त कम्पनियों में बी.एस.ई. व एन.एस.ई. में सूचीबद्ध 1200 से भी अधिक कम्पनियां भी शामिल हैं जिनके शेयरों में कारोबार विभिन्न अनुपालनों के उल्लंघन के कारण 7 साल से भी अधिक समय से निलंबित है। इसके अलावा विभिन्न क्षेत्रीय स्टाक एक्सचेंजों में सूचीबद्ध 3000 से अधिक कम्पनियों भी हैं जो बंद हैं। इसके साथ ही सिन्हा ने सूचीबद्ध कम्पनियों के वित्तीय खातों में कमियों पर अपनी आंखें मूंदने वाले आडिटरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी है।  

 

सिन्हा ने कहा, ‘अब तक हमने आडिटरों को लेकर दूर रहो की नीति अपनाई है लेकिन अगर कुछ गंभीर हमारे सामने आता है तो हम कार्रवाई करेंगे। आडिटर अगर कमियों पर ऊंगली उठाए बिना ही सालों से खातों को प्रमाणित कर रहे हैं तो वे निरापद नहीं रह सकते।’

 

सेबी प्रमुख ने कहा कि 4200 से अधिक सूचीबद्ध कम्पनियों को लेकर काम इसी साल पूरा कर लिया जाएगा। भविष्य में भी बाजार को ‘साफ स्वच्छ‘ करने के लिए इस तरह की कार्रवाई की जाएगी। यहां एक संवाद में सिन्हा ने कहा कि इन कम्पनियों की सूचीबद्धता समाप्त करना नियामक के लिए मौजूदा वित्त वर्ष में एक महत्वपूर्ण काम है जिस पर वह ध्यान देगा। उन्होंने कहा, ‘हम सूचीबद्ध कम्पनियों की संख्या घटाने जा रहे हैं। हमने कुछ बंद पड़े या काम नहीं कर रहे क्षेत्रीय एक्सचेंजों को बंद कर स्टाक एक्सचेंजों की संख्या घटाई है। वे जोखिम के केंद्र थे अनेक मुकदमे चल रहे थे लेकिन हमने सभी में जीत हासिल की।’ सिन्हा ने कहा, ‘अब हमारा लक्ष्य सूचीबद्ध कम्पनियों की संख्या कम करना है जिनमें कारोबार बहुत कम है या नहीं है।’

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