Edited By jyoti choudhary,Updated: 27 Apr, 2019 12:08 PM
रिलायंस कॉम्युनिकेशंस (RCom) एक बार फिर दूरसंचार विभाग को 492 करोड़ रुपए का स्पेक्ट्रम बकाया भगुतान करने में असफल रहा है। एक सरकारी अधिकारी ने यह जानकारी देते हुए बताया कि अनिल अंबानी की कंपनी लगातार तीसरी बार डिफॉल्ट कर गई है।
मुंबईः रिलायंस कॉम्युनिकेशंस (RCom) एक बार फिर दूरसंचार विभाग को 492 करोड़ रुपए का स्पेक्ट्रम बकाया भगुतान करने में असफल रहा है। एक सरकारी अधिकारी ने यह जानकारी देते हुए बताया कि अनिल अंबानी की कंपनी लगातार तीसरी बार डिफॉल्ट कर गई है।
कर्ज में लदे ऑपरेटर, जिसने बैंकरप्सी प्रॉटेक्शन फाइल करने का फैसला किया, ने कहा कि अपीलेट के एक आदेश की वजह से उसे भुगतान नहीं करना है। डिपार्टमेंट ऑफ टेलिकॉम्युनिकेशंस (DoT) ने कहा कि वह कारण बताओ नोटिस देने या ऑपरेटर से स्पेक्ट्रम वापस लेन से पहले ट्राइब्यूनल के आदेश का इंतजार करेगा। नैशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्राइब्यूनल (NCLAT) 30 अप्रैल को इस मामले की सुनवाई करेगा। ट्राइब्यूनल उस दिन इन्सॉलवेंसी फाइल करने के लिए RCom के आवेदन पर भी विचार करेगा।
इस मामले की जानकारी रखने वाले एक व्यक्ति ने बताया, 'सरकार को 492 करोड़ रुपए देने के लिए अंतिम तारीख 19 अप्रैल थी, जिसमें 10 दिन का ग्रेस पीरियड शामिल है।' ऑपरेटर इससे पहले 5 अप्रैल को DoT को 281 करोड़ रुपए और 13 मार्च को 21 करोड़ रुपए चुकाने में असफल रहा था। कभी भारतीय टेलिकॉम सेक्टर की अग्रणी कंपनी पर आज 46 हजार करोड़ रुपए का कर्ज है। कंपनी ने खबर लिखे जाने तक ईटी की ओर से पूछे गए सवालों के जवाब नहीं दिए हैं।
नोटिस पर स्टे
मार्च का बकाया मुंबई सर्कल के लिए था, जिसके बाद DoT ने टेलिकॉम कंपनी को कारण बताओ नोटिस भेजा और पूछा कि क्यों ना इसका लाइसेंस और स्पेक्ट्रम वापस ले लिया जाए। हालांकि, अपीलेट ट्राइब्यूनल ने DoT के नोटिस पर स्टे लगा दिया।