Edited By jyoti choudhary,Updated: 22 Nov, 2019 12:41 PM
केंद्रीय इस्पात मंत्री धमेंद्र प्रधान ने कहा कि सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों में हिस्सेदारी बेचकर सरकार इन्हें जवाबदेह बनाने की कोशिश कर रही है। उन्होंने कहा कि लोगों के प्रति इन कंपनियों की जवाबदेही तय करने की जरूरत है
नई दिल्लीः केंद्रीय इस्पात मंत्री धमेंद्र प्रधान ने कहा कि सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों में हिस्सेदारी बेचकर सरकार इन्हें जवाबदेह बनाने की कोशिश कर रही है। उन्होंने कहा कि लोगों के प्रति इन कंपनियों की जवाबदेही तय करने की जरूरत है, इसीलिए सरकार ने अपनी हिस्सेदारी बेचकर इन्हें पेशेवर बनाने का फैसला किया है। इसके साथ उन्होंने यह संकेत भी दिया कि सरकारी कंपनियों को इस विनिवेश में बोली लगाने से दूर रखा जाएगा। केंद्रीय कैबिनेट ने बुधवार को पांच सरकारी कंपनियों में हिस्सेदारी बेचने के फैसले को मंजूरी दी थी। विपक्षी दल कांग्रेस ने संसद में इस सरकारी फैसले पर विरोध जताया था।
प्रधान ने सरकारी स्टील कंपनियों सेल और आरआईएनएल को अधिक प्रतिस्पर्धी बनाने की जरूरत पर बल दिया। उन्होंने कहा कि अगर निजी कंपनियां बाजार की प्रतिस्पर्धा का सामना करके स्टील उत्पादन कर सकती हैं तो सेल और आरआईएनएल को भी इसके लिए तैयार रहना चाहिए। सार्वजनिक कंपनियों की देखरेख सरकार करती है, इसलिए जनता के प्रति हमारी जवाबदेही बनती है।
गौरतलब है कि चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही के दौरान देश की सबसे बड़ी स्टील निर्माता कंपनी सेल को 342.84 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ था। प्रधान ने स्टील कंपनियों से ग्रीन स्टील के उत्पादन की दिशा में काम करने को कहा। उन्होंने कहा कि कोयले की जगह पर्यावरण अनुकूल ईंधन का प्रयोग करके स्टील उद्योग ग्रीन स्टील के उत्पादन के लक्ष्य को प्राप्त कर सकता है।