Edited By jyoti choudhary,Updated: 26 Jun, 2023 02:02 PM
चालू वित्त वर्ष के दौरान भारत का तिलहन निर्यात 10-15 प्रतिशत बढ़ने की उम्मीद है। निर्यातकों ने बताया कि व्यापारियों को दक्षिण पूर्व एशिया, लैटिन अमेरिका और अफ्रीका से अच्छे ऑर्डर मिल रहे हैं। वित्त वर्ष 2022-23 में तिलहन निर्यात 20 प्रतिशत से अधिक...
नई दिल्लीः चालू वित्त वर्ष के दौरान भारत का तिलहन निर्यात 10-15 प्रतिशत बढ़ने की उम्मीद है। निर्यातकों ने बताया कि व्यापारियों को दक्षिण पूर्व एशिया, लैटिन अमेरिका और अफ्रीका से अच्छे ऑर्डर मिल रहे हैं। वित्त वर्ष 2022-23 में तिलहन निर्यात 20 प्रतिशत से अधिक बढ़कर 1.33 अरब अमेरिकी डॉलर (लगभग 10,900 करोड़ रुपए) था। देश से निर्यात किए जाने वाले मुख्य तिलहन में मूंगफली, तिल, सोयाबीन, अरंडी और सूरजमुखी शामिल हैं।
भारतीय तिलहन एवं उपज निर्यात संवर्धन परिषद (आईओपीईपीसी) के पूर्व चेयरमैन खुशवंत जैन ने कहा कि मांग अच्छी हैं और ''हमें इस साल भी अच्छी वृद्धि की उम्मीद है।'' उन्होंने कहा कि तिलहन का रकबा बढ़ने से इस साल पैदावार बढ़ाने में मदद मिलेगी और इसका मतलब है कि हम अधिक निर्यात कर सकेंगे।
भारत के लिए प्रमुख निर्यात गंतव्य इंडोनेशिया, वियतनाम, चीन, मलेशिया, फिलीपींस और यूरोपीय संघ हैं। आईओपीईपीसी के उपाध्यक्ष रुतुपर्णा डोले ने कहा कि मौजूदा स्थिति को देखते हुए, ''हमें 10-15 प्रतिशत वृद्धि की उम्मीद है।'' उन्होंने कहा कि कुल तिलहन निर्यात में मूंगफली और तिल की हिस्सेदारी 80-85 फीसदी है।