शुरूआती बढ़त को बरकरार नहीं रख पाये शेयर बाजार, निवेशकों की नजर मौद्रिक नीति पर

Edited By PTI News Agency,Updated: 05 Aug, 2020 06:07 PM

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मुंबई, पांच अगस्त (भाषा) घरेलू शेयर बाजारों के मानक सूचकांक बीएसई सेंसेक्स और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी बुधवार को शुरूआती बढ़त को बरकरार नहीं रख पाये और लगभग पिछले दिन के स्तर पर बंद हुए। बाजार में अच्छी हिस्सेदारी रखने वाले रिलायंस...

मुंबई, पांच अगस्त (भाषा) घरेलू शेयर बाजारों के मानक सूचकांक बीएसई सेंसेक्स और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी बुधवार को शुरूआती बढ़त को बरकरार नहीं रख पाये और लगभग पिछले दिन के स्तर पर बंद हुए। बाजार में अच्छी हिस्सेदारी रखने वाले रिलायंस इंडस्ट्रीज और एचडीएफसी बैंक के शेयरों में मुनाफावसूली की गयी जिसका असर बाजार पर पड़ा।
कारोबारियों के अनुसार रिजर्व बैंक की बृहस्पतिवार को मौद्रिक नीति समीक्षा से पहले निवेशक बाजार से दूर रहे।

बीएसई का तीस शेयरों वाला सेंसेक्स कारोबार के दौरान एक समय 452 अंक तक मजबूत हुआ था लेकिन बाद में इसमें गिरावट आयी। अंत में यह 24.58 अंक यानी 0.07 प्रतिशत घट कर 37,663.33 अंक पर बंद हुआ।

वही, नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी 6.40 अंक यानी 0.06 प्रतिशत की मामूली बढ़त के साथ 11,101.65 अंक पर बंद हुआ।
सेंसेक्स में गिरावट का कारण एचडीएफसी बैंक और रिलायंस इंडस्ट्रीज के शेयरों का नीचे आना है। इन शेयरों में हाल की तेजी के बाद निवेशकों की मुनाफावसूली से इनमें एक प्रतिशत से अधिक गिरावट दर्ज की गयी। पावर ग्रिड, टेक महिंद्रा, इन्फोसिस, नेस्ले इंडिया और एचसीएल टेक भी नुकसान में रहे।

दूसरी तरफ टाटा स्टील में 6.33 प्रतिशत की तेजी आयी। उसके बाद टाइटन, मारुति, भारती एयरटेल और महिंद्रा एंड महिंद्रा का स्थान रहा।

कारोबारियों के अनुसार वैश्विक बाजारों में सकारात्मक रुख और विदेशी संस्थागत निवेशकों के पूंजी प्रवाह जारी रहने के बावजूद शेयर केंद्रित गतिविधियों से घरेलू शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव आया।

जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, ‘‘भारतीय शेयर बाजारों के स्थिर बंद होने से पहले उतार-चढ़ाव रहा। वैश्विक रुख सकारात्मक रहा जबकि सोना उछलकर रिकार्ड ऊंचाई पर पहुंच गया है। दुनिया भर में कंपनियों के बेहतर तिमाही नतीजे शेयरों और बाजारों को दिशा दे रहे हैं। भारतीय बाजार में भी यही प्रवृत्ति है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘...निकट भविष्य में बाजार में अनिश्चितताएं बनी रह सकती है। बजार की नजर आरबीआई की मौद्रिक नीति पर होगी। मौद्रिक नीति समिति की बैठक बृहस्पतिवार को समाप्त होने के बाद मौद्रिक नीति समीक्षा जारी की जाएगी।’’
इस बीच, देश के सेवा क्षेत्र में लगातार पांचवें महीने जुलाई में भी गिरावट दर्ज की गयी। कोरोना वायरस महामारी की रोकथाम के लिये लगाये गये ‘लॉकडाउन’ के कारण आर्थिक गतिविधियां प्रभावित होने से सेवा क्षेत्र में गिरावट आयी।

आईएचएस मार्किट इंडिया सर्विसिज बिजनेस एक्टिविटी इंडेक्स जुलाई माह में 34.2 अंक पर रहा। हालांकि, जून के 33.7 अंक के मुकाबले यह मामूली सुधार में रहा।
उधर, कंपनियों के बेहतर नतीजों के कारण वैश्विक शेयर बाजारों में तेजी रही जबकि सुरक्षित निवेश के लिये अधिक मांग होने से सोना 2,000 डॉलर प्रति औंस को पार कर गया।
वैश्विक स्तर पर चीन का शंघाई, हांगकांग और दक्षिण कोरिया का सोल लाभ के साथ बंद हुए जबकि जापान का टोक्यो नुकसान में रहा।

शुरूआती कारोबार में यूरोप के प्रमुख बाजारों में तेजी रही।

वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड 2.09 प्रतिशत उछलकर 45.36 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया।

विदेशी विनिमय बाजार में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया 10 पैसे लाभ के साथ 74.94 पर बंद हुआ।



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