Edited By Anil dev,Updated: 01 Sep, 2018 12:04 PM
दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल भी जैन मुनि तरुण सागर के प्रशंसक थे लेकिन एक वक्त ऐसा भी आया था उनको भी तरुण सागर के क्रोध का शिकार होना पड़ा था। भारतीय सेना द्वारा पाकिस्तान के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक को अंजाम दिया गया था।
नई दिल्ली: दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल भी जैन मुनि तरुण सागर के प्रशंसक थे लेकिन एक वक्त ऐसा भी आया था उनको भी तरुण सागर के क्रोध का शिकार होना पड़ा था। भारतीय सेना द्वारा पाकिस्तान के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक को अंजाम दिया गया था। सेना के इस कदम की सभी ने जमकर तारीफ की थी, लेकिन इसी बीच केजरीवाल ने सेना से स्ट्राइक के सबूत मागे थे। जिस पर जमकर विवाद भी हुआ था। जो की पंजाब और दिल्ली चुनाव में एक जबरदस्त मुद्दा बना था। उसके बाद ही अरविंद केजरीवाल बीजेपी के साथ - साथ जैन मुनि के निशाने पर आए थे।
केजरीवाल द्वारा उठाए गए सवालों को लेकर जैन मुनि तरुण ने कहा था कि केजरीवाल ओछी राजनीति से बाज आएं। डायन भी एक घर छोड़ देती है। सेना के जवान हमारे असली हीरो हैं। उनकी आलोचना करने वाले नशे में हैं, होश में नहीं।
कड़वे प्रवचनों के लिए प्रसिद्ध
तरुण सागर जी अपने कड़वे प्रवचनों के लिए प्रसिद्ध हैं। इसी वजह से उन्हें क्रांतिकारी संत भी कहा जाता है। वहीं, कड़वे प्रवचन नामक उनकी पुस्तक काफी प्रचलित है। समाज के विभिन्न वर्गों को एकजुट करने में उन्होंने काफी प्रयास किए हैं। तरुण सागर जी को मध्यप्रदेश सरकार ने 6 फरवरी 2002 को राजकीय अतिथि का दर्जा दिया था।