Edited By vasudha,Updated: 18 May, 2020 04:21 PM
किसी की मदद का जज्बा हो तो इंसान क्या नहीं कर सकता, इसी की एक मिसाल पेश की है यहां के एक ऑटो चालक ने जो अपने विवाह के लिए जमा पैसे का इस्तेमाल प्रवासी कामगारों को भोजन कराने में और परेशानहाल लोगों की सहयता में खर्च कर रहा है। अक्षय कोठावले (30) ऑटो...
नेशनल डेस्क: किसी की मदद का जज्बा हो तो इंसान क्या नहीं कर सकता, इसी की एक मिसाल पेश की है यहां के एक ऑटो चालक ने जो अपने विवाह के लिए जमा पैसे का इस्तेमाल प्रवासी कामगारों को भोजन कराने में और परेशानहाल लोगों की सहयता में खर्च कर रहा है। अक्षय कोठावले (30) ऑटो चलाता है। उसने अपने विवाह के लिए दो लाख रुपए इकट्ठा किए थे लेकिन लॉकडाउन के कारण उसे विवाह स्थगित करना पड़ा। अब वह अपने पैसे का इस्तेमाल लोगों की सहायता में कर रहा है।
इसके साथ ही, वह बुजुर्ग मरीजों और गर्भवती महिलाओं को मुफ्त क्लिनिक पहुंचाता है। अक्षय ने बताया कि 25 मई को मेरी शादी होनी थी और इसके लिए मैंने दो लाख रुपए बचाए थे, लेकिन लॉकडाउन के कारण मैंने और मेरी मंगेतर ने विवाह स्थगित करने का निर्णय किया। उसने कहा कि मैंने सड़कों पर ऐसे लोग देखे जो एक वक्त का खाना तक नहीं पा रहे थे और किसी तरह जिंदा रहने के लिए संघर्ष कर रहे थे। इसके बाद मैंने और मेरे कुछ दोस्तों ने इन लोगों की मदद के लिए कुछ करने की ठानी।
ठाणे के टिंबर बाजार इलाके के रहने वाले कोठवले ने कहा कि मैंने शादी के लिए बचा कर रखी अपनी रकम का इस्तेमाल करने का निश्चय किया और कुछ दोस्तों ने भी इसमें मदद की। इस पैसे से उन्होंने सब्जी-रोटी बनानी शुरू की। इसके बाद इस भोजन को उन्होंने ऐसे स्थानों पर बांटना शुरू किया जहां प्रवासी कामगार और भूखे जमा होते हैं। वह यह भोजन अपने ऑटो रिक्शा से मालधक्का चौक, संगमवाडी और येरावडा जैसे स्थानों पर ले जाता है और भूखे लोगों को खिलाता है। उसने बताया कि अब उनके पास पैसे धीरे-धीरे समाप्त हो रहे हैं तो हो सकता है कि वे अब रोटी सब्जी के स्थान पर पुलाव, मसाला चावल अथवा सांभर चावल बांटना शुरू करें।