Edited By Seema Sharma,Updated: 15 Jul, 2018 09:42 AM
भाजपा के लिए वर्ष 2012 के गुजरात चुनाव के लिए रणनीति बनाने के बाद 2014 में मोदी सरकार बनने के उपरांत चुनावी रणनीतिकार के तौर पर उभरे प्रशांत किशोर (पी.के.) एक बार फिर भाजपा में वापसी का मन बना चुके हैं। जल्द ही वह वर्ष 2019 के चुनाव के लिए भाजपा
नई दिल्ली: भाजपा के लिए वर्ष 2012 के गुजरात चुनाव के लिए रणनीति बनाने के बाद 2014 में मोदी सरकार बनने के उपरांत चुनावी रणनीतिकार के तौर पर उभरे प्रशांत किशोर (पी.के.) एक बार फिर भाजपा में वापसी का मन बना चुके हैं। जल्द ही वह वर्ष 2019 के चुनाव के लिए भाजपा के पक्ष में रणनीति बनाते हुए दिखाई दे सकते हैं। सूत्रों के मुताबिक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कई बार की मुलाकातों के बाद अब अमित शाह से भी अंदरखाते हुई एक मुलाकात ने पी.के. के लिए भाजपा के दरवाजे खोल दिए हैं।
बता दें कि 2014 में भाजपा के लिए चुनावी रणनीति बनाने के बाद सुर्खियों में आए प्रशांत किशोर के भाजपा के साथ रिश्ते तल्ख हो गए थे। इसके बाद बिहार और यू.पी. के विधानसभा चुनाव के दौरान प्रशांत किशोर ने भाजपा के धुर विरोधियों से हाथ मिला लिया था। इस बीच उन्होंने जहां बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान नीतीश के साथ मिलकर भाजपा के खिलाफ चुनावी बिसात बिछाई थी, वहीं यू.पी. चुनाव में अखिलेश यादव के लिए रणनीति बनाकर भाजपा के लिए विभीषण का काम किया था। हालांकि बिहार में जहां उन्हें भाजपा को सत्ता से दूर रखने में सफलता मिली वहीं यू.पी. चुनाव में उनकी रणनीति काम नहीं आ सकी थी।