हरियाणा पुलिस ने फर्जी जीएसटी बिल गिरोह का भांडाफोड़ किया, 89 गिरफ्तार

Edited By PTI News Agency,Updated: 17 Jan, 2021 09:28 PM

pti state story

चंडीगढ़, 17 जनवरी (भाषा) हरियाणा पुलिस ने कंपनियों को फर्जी जीएसटी बिल जारी करने वाले चार गिरोह का भांडाफोड़ किया है और 89 लोगों को गिरफ्तार किया है। फर्जी बिलों की वजह से सरकारी खज़ाने को करीब 465 करोड़ रुपये का नुकसान होने का अनुमान है।

चंडीगढ़, 17 जनवरी (भाषा) हरियाणा पुलिस ने कंपनियों को फर्जी जीएसटी बिल जारी करने वाले चार गिरोह का भांडाफोड़ किया है और 89 लोगों को गिरफ्तार किया है। फर्जी बिलों की वजह से सरकारी खज़ाने को करीब 465 करोड़ रुपये का नुकसान होने का अनुमान है।
हरियाणा के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) मनोज यादव ने रविवार को बताया कि पिछले साल जुलाई से अक्टूबर के बीच 72 मामले दर्ज किए गए और 89 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
उन्होंने बताया, '' हरियाणा पुलिस ने चार प्रमुख गिरोह का भांडाफोड़ किया है जो फर्जी कंपनियों को जाली जीएसटी बिल जारी करने से संबंधित हैं। इस वजह से सरकारी खज़ाने को 464.12 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। ''
प्रदेश पुलिस के प्रवक्ता ने एक बताया कि फर्जी ‘माल एवं सेवा कर पहचान नंबर’ (जीएसटीआईएन) वाली कंपनियों को जाली जीएसटी चालान जारी करके सरकारी खजाने को नुकसान पहुंचाने वाले गिरोह का खुलासा किया गया है। यह खुलासा दो साल लंबी चली जांच में किया गया है।
डीजीपी ने एक सरकारी बयान में बताया है कि कुल मामलों में से 40 मामले गिरोह के प्रमुख सदस्य गोविंद शर्मा, गौरव, अनुपम सिंगला और राकेश अरोड़ा के खिलाफ दर्ज किए गए हैं। उन्हें भी गिरफ्तार कर लिया गया है।
गिरोह का मास्टरमाइंड अनुपम सिंगला है जो राजस्थान, गुजरात, पंजाब और दिल्ली समेत अन्य राज्यों में भी सक्रिय था।
यादव ने बताया कि इससे पहले, सिंगला के खिलाफ महानिदेशक जीएसटी खुफिया, दिल्ली ने जीएसटी घोटाले में मामला दर्ज किया था।
उन्होंने बताया कि वह देश में जीएसटी कर व्यवस्था आने से पहले वैट की व्यवस्था में भी धोखाधड़ी करने में शामिल था।

यादव ने बताया कि आरोपी माल की आपूर्ति किए बिना ही ई-वे बिल (सामान को लाने- ले जाने के लिए जीएसटी संबंधित चालान) के जरिए कंपनियों को फर्जी बिल जारी करते थे और जीएसटी पोर्टल पर फर्जी ''इनपुट टैक्स क्रेडिट '' (आईटीसी) की पात्रता दिलाने में मदद की।

उन्होंने बताया कि जांच में पता चला कि फर्जी जीएसटी चालान और जाली बैंक लेनदेन के माध्यम से ई-वे बिल का उपयोग करके इन गिरोहों ने करोड़ों रुपये की आईटीसी पात्रता की रसीदें प्राप्त की।

उन्होंने बताया कि राज्य पुलिस ने आबकारी एवं कराधान विभाग में 97.22 करोड़ रुपये की अमान्य आईटीसी को ब्लॉक किया है।
डीजीपी ने बयान में बताया कि इन ई-वे बिलों में एंबुलेंस, सरकारी वाहनों, मोटरसाइकिलों, निजी वाहनों की पंजीकरण संख्या का उल्लेख किया गया है जिनका इस्तेमाल व्यावसायिक उद्देश्य के लिए नहीं किया जा सकता है।
उन्होंने बताया कि जांच में यह भी पता चला है कि आरोपियों ने, बिजली के बिल, पैन कार्ड आदि के जाली दस्तावेजों के आधार फर्जी कंपनियां बनाईं।

हिसार अपराध इकाई ने अनुपम सिंगला और उसके साथियों पर 157.39 करोड़ रुपये की जीएसटी चोरी का आरोप लगाया है। वह सिरसा का रहने वाला है।

यह आर्टिकल पंजाब केसरी टीम द्वारा संपादित नहीं है, इसे एजेंसी फीड से ऑटो-अपलोड किया गया है।

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!