आबकारी नीति: दिल्ली के पूर्व उपराज्यपाल ने अपने खिलाफ आरोप को ‘झूठ’ बताया

Edited By PTI News Agency,Updated: 09 Aug, 2022 05:25 PM

pti state story

नयी दिल्ली, नौ अगस्त (भाषा) दिल्ली के पूर्व उपराज्यपाल अनिल बैजल ने आबकारी नीति 2021-22 के कार्यान्वयन में कथित अनियमितताओं के संबंध में उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया द्वारा उनके खिलाफ लगाए गए आरोपों को मंगलवार को ‘‘निराधार’’ करार दिया।

नयी दिल्ली, नौ अगस्त (भाषा) दिल्ली के पूर्व उपराज्यपाल अनिल बैजल ने आबकारी नीति 2021-22 के कार्यान्वयन में कथित अनियमितताओं के संबंध में उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया द्वारा उनके खिलाफ लगाए गए आरोपों को मंगलवार को ‘‘निराधार’’ करार दिया।

बैजल ने एक कड़े बयान में कहा कि सिसोदिया द्वारा उनके खिलाफ लगाए गए आरोप "अपनी खाल बचाने के लिए एक हताश आदमी" द्वारा किया जा रहा प्रयास है।

सिसोदिया के पास दिल्ली सरकार का आबकारी विभाग भी है।

उन्होंने पिछले शनिवार को बैजल पर आबकारी नीति पर अपना रुख बदलने का आरोप लगाया था।

दिल्ली सरकार द्वारा संबंधित आबकारी नीति लाए जाने के समय बैजल उपराज्यपाल थे।

सिसोदिया कहा था कि बैजल के फैसले से कुछ लाइसेंसधारियों को ‘‘लाभ’’ हुआ जबकि दिल्ली सरकार को हजारों करोड़ रुपये का ‘‘नुकसान’’ हुआ।

बैजल ने अपने खिलाफ लगाए गए आरोपों पर कहा, "श्री सिसोदिया अपने और अपने सहयोगियों के कृत्यों तथा गलतियों के लिए कुछ बहाना खोजने की कोशिश कर रहे हैं। आरोप कुछ और नहीं, बल्कि एक हताश आदमी द्वारा अपनी खाल बचाने के लिए कहा जा रहा झूठ है।"
दिल्ली सरकार और इसके आबकारी मंत्री के दावों को खारिज करते हुए बैजल ने कहा कि रिकॉर्ड खुद बोलेगा और जांच के बाद सच सामने आएगा।

मौजूदा उपराज्यपाल वीके सक्सेना पहले ही आबकारी नीति 2021-22 के कार्यान्वयन में कथित अनियमितताओं की सीबीआई जांच की सिफारिश कर चुके हैं और उन्होंने कई आबकारी अधिकारियों के निलंबन को भी मंजूरी दी है।

दिल्ली सरकार नयी आबकारी नीति को पहले ही वापस ले चुकी है।



यह आर्टिकल पंजाब केसरी टीम द्वारा संपादित नहीं है, इसे एजेंसी फीड से ऑटो-अपलोड किया गया है।

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!