Edited By PTI News Agency,Updated: 16 Feb, 2021 08:13 PM
कोलकाता, 16 फरवरी (भाषा) केंद्र सरकार के बिजली वितरण क्षेत्र में प्रतिस्पर्धा लाने के लिये इसे निजी कंपनियों के लिये खोलने के प्रस्तावित कदम को लेकर मिली-जुली प्रतिक्रिया मिली है।
कोलकाता, 16 फरवरी (भाषा) केंद्र सरकार के बिजली वितरण क्षेत्र में प्रतिस्पर्धा लाने के लिये इसे निजी कंपनियों के लिये खोलने के प्रस्तावित कदम को लेकर मिली-जुली प्रतिक्रिया मिली है।
वितरण कंपनी के एक अधिकारी ने कहा कि इस कदम से छोटे ग्राहकों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा जबकि बड़े ग्राहक लाभ में होंगे।
हालांकि पश्चिम बंगाल राज्य बिजली नियामक आयोग के पूर्व चेयरमैन आर एन सेन ने केंद्र द्वारा बिजली (संशोधन) विधेयक, 2021 के जरिये प्रस्तावित सुधार का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि यह ग्राहकों के हित में है।
सेन ने यह भी कहा कि इसकी सफलता के लिये क्रियान्वयन का तौर-तरीका महत्वपूर्ण होगा।
पश्चिम बंगाल सरकार के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि केंद्रीय बिजली मंत्रालय की राज्यों के बिजली सचिवों तथा वितरण कंपनियों के शीर्ष अधिकारियों के साथ बुधवार को बैठक के बाद इस पर प्रतिक्रिया व्यक्त की जाएगी। बैठक में बिजली कानून, 2003 में प्रस्तावित संशोधनों पर चर्चा की जाएगी।
हालांकि अधिकरी ने आशंका जतायी कि केंद्र कानून में संशोधन के जरिये बिजली क्षेत्र में राज्यों के अधिकारों पर दखल बढ़ा सकता है।
वितरण क्षेत्र में सुधार का मकसद ग्राहकों को बिजली वितरण कंपनियों को लेकर चयन का विकल्प उपलब्ध कराना है। यानी ग्राहक यह चयन कर सकेंगे कि वे किस कंपनी से बिजली लेना चाहेंगे। इसके तहत अन्य इकाइयों को फ्रेंचाइजी के आधार पर बिजली वितरण का जिम्मा दिये जाने का प्रस्ताव है।
इस प्रयास का मकसद क्षेत्र में दक्षता को बढ़ाना है।
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