Edited By Punjab Kesari,Updated: 29 Nov, 2017 05:53 PM
केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की रांची स्थित विशेष अदालत ने करोड़ों रुपये की अनियमितताओं के मामले में भारतीय स्टेट बैंक (एस.बी.आई.) के एक पूर्व उप-प्रबंधक को 10 साल जेल की सजा सुनाई है। सी.बी.आई. प्रवक्ता ने आज यहां बताया कि रांची की विशेष सी.बी.आई....
नई दिल्लीः केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की रांची स्थित विशेष अदालत ने करोड़ों रुपये की अनियमितताओं के मामले में भारतीय स्टेट बैंक (एस.बी.आई.) के एक पूर्व उप-प्रबंधक को 10 साल जेल की सजा सुनाई है।
सी.बी.आई. प्रवक्ता ने आज यहां बताया कि रांची की विशेष सी.बी.आई. अदालत ने मेनरोड स्थित एस.बी.आई. की शाखा के पूर्व उप-प्रबंधक (लेखा) प्रशांत कुमार घोष को करोड़ों रुपए की हेराफेरी के मामले में भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 409 के तहत दोषी ठहराया है और 10 साल जेल की सजा सुनायी है। विशेष अदालत ने दोषी अधिकारी पर 50 लाख रुपए का जुर्माना भी किया है।
प्रवक्ता के अनुसार, घोष को भ्रष्टाचार निरोधक कानून, 1988 की धारा 13(एक)(सी) तथा13(दो) के तहत भी तीन साल जेल की सजा हुई है और 50 लाख रुपए का जुर्माना लगाया है। सी.बी.आई. अदालत ने हालांकि स्पष्ट किया कि जेल की दोनों सजा साथ-साथ चलेंगी। जुर्माने की राशि का आधा हिस्सा एस.बी.आई. की शाखा में जमा कराया जायेगा। गौरतलब है कि सी.बी.आई. ने स्टेट बैंक, पटना की शिकायत के आधार पर घोष और तत्कालीन उप-प्रबंधक (नकद) के खिलाफ 10 सितम्बर, 2002 को एक मुकदमा दर्ज किया था। घोष को बैंक से एक करोड़ 21 लाख रुपए का गबन करने का दोषी करार दिया गया है।