अगर आप भी पीते हो एनर्जी ड्रिंक तो एक बार जरुर पढ़ें यह खबर

Edited By ,Updated: 06 Jul, 2015 02:02 PM

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वर्तमान दौर में दुनिया भर में विभिन्न प्रकार के एनर्जी ड्रिंक चर्चा का विषय बने हुए हैं। कुछ देशों ने इस पर रोक लगा दी है तो कुछ ने चेतावनी छापने को कहा है।

लुधियाना (सहगल): वर्तमान दौर में दुनिया भर में विभिन्न प्रकार के एनर्जी ड्रिंक चर्चा का विषय बने हुए हैं। कुछ देशों ने इस पर रोक लगा दी है तो कुछ ने चेतावनी छापने को कहा है। वहीं भारत में एनर्जी ड्रिंक का बाजार बहुत तेजी से फल-फूल रहा है। यह युवाओं के बीच काफी लोकप्रिय है। 

विशेषज्ञों के अनुसार इसका अध्कि सेवन जानलेवा हो सकता है। जहां पहले एनर्जी ड्रिंक कैफीन युक्त आते थे वहीं अब बाजार में अल्कोहल कैफीन के मिश्रित पेय भी बाजार में उपलब्ध हैं। पंजाब सरकार की लैब द्वारा अभी तक लिए सैंपलों की जांच गंभीरता से नहीं की गई और न ही सेहत विभाग द्वारा एनर्जी ड्रिंक के संबंध में कोई मुहिम शरू की गई। सूत्रों के अनुसार कुछ सैंपल जांच के लिए चंडीगढ़ स्थित सरकारी लैब में भेजे गए थे जिन्हें पास कर दिया गया है। 

क्या हैं खतरे
विशेषज्ञों के अनुसार 2 से अधिक ड्रिंक लेने से यह सेहत के प्रति नुक्सानदायक हो सकता है। गर्भवती महिलाओं, बच्चे को दूध पिलाने वाली माताओं व 16 साल से कम उम्र के बच्चों को एनर्जी ड्रिंक्स नहीं लेना चाहिए। अल्कोहल के साथ कैफीन मिश्रित ड्रिंक के बारे में माहिरों का कहना है कि यह बेहद घातक सिद्ध हो सकता है क्योंकि कैफीन उत्तेजक होती है और अल्कोहल डिप्रैसैंट, दोनों का असर एक-दूसरे से विपरीत है, जो दिल पर घातक असर करता है। इनका सेवन करने वाले व्यक्ति के व्यवहार में परिवर्तन, हिंसक होना, वजन कम होना तथा गर्भवती महिलाओं में गर्भपात व मृत्यु तक हो सकती है। 

कई देशों ने बनाए नियम
उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार एनर्जी ड्रिंक के खतरों को देखते हुए कई देशों ने अलग-अलग नियम बनाए। रूस ने सन् 2012 में इसे बैन कर दिया तो न्यूजीलैंड व आस्ट्रेलिया ने संयुक्त रूप से अपना फूड स्टैंडर्ड कोड बना कर ड्रिंक की केन पर लेबल लगाकर, अधिक सेवन न करने संबंधी चेतावनी लिखने को कहा। कई देशों ने इसे नशीले ड्रग की श्रेणी में रखा पर भारत में अभी तक न तो इस पर कोई कानून बना है और न ही सरकारी लैबों को अपग्रेड किया गया है।  

क्या है एनर्जी ड्रिंक में
एनर्जी ड्रिंक में जिन तत्वों को पाया जाता है उनमें कैफीन, चीनी, ग्लूकोज, उत्तेजक दवा, कुछ विटामिन और अल्कोहल होता है। वैज्ञानिक इसके सेवन को घातक मानते हैं तो कार्पोरेट उद्योग इसे सुरक्षित पेय मानता है पर दुनिया भर में सामने आए नतीजों से कई देशों ने इससे अपना मुंह मोड़ने का फैसला कर लिया है। कई निर्माता एनर्जी ड्रिंक में पाए गए तत्वों का सही उल्लेख तक नहीं करते हैं। 

क्या कहते हैं विशेषज्ञ
दयानंद मैडीकल कालेज के प्रिंसीपल व मैडीसिन के विशेषज्ञ डा. संदीप पुरी ने बताया कि एनर्जी ड्रिंक में कैफीन चीनी की मात्रा काफी अधिक होती है जिससे कि निरंतर सेवन से इसकी आदत पड़ जाती है। उन्होंने कहा कि जो लोग पहले से मैडीकल सुपरविजन में हैं जैसे ब्लड प्रैशर, मधुमेह, थायराइड व हृदय रोगों आदि की दवा ले रहे हैं उन्हें एनर्जी ड्रिंक का सेवन नहीं करना चाहिए, जिन्हें अधिक सेवन की आदत है उन्हें कई प्रकार की समस्याएं हो सकती हैं, जिसमें सिरदर्द, माइग्रेन, घबराहट, उत्तेजना आदि की शामिल है।

अल्कोहल युक्त कैफीन मिश्रित ड्रिंक हार्ट के लिए ठीक नहीं। देश में इसकी कड़ी जांच व मापदंड तय करने की जरूरत है। बच्चों को एनर्जी ड्रिंक बिल्कुल नहीं देना चाहिए।

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