Edited By vasudha,Updated: 28 Jan, 2020 02:51 PM
भारत के वॉरेन बफे कहे जाने वाले दिग्गज निवेशक राकेश झुनझुनवाला (Rakesh Jhunjhunwala) की कथित इनसाइडर ट्रेडिंग मामले में मुश्किलें बढ़ती हुई दिखाई दे रही है। भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (Sebi) ने मंगलवार को उन्हे समन भेजा है। दरअसल सेबी ऐप्टेक...
बिजनेस डेस्क: भारत के वॉरेन बफे कहे जाने वाले दिग्गज निवेशक राकेश झुनझुनवाला (Rakesh Jhunjhunwala) की कथित इनसाइडर ट्रेडिंग मामले में मुश्किलें बढ़ती हुई दिखाई दे रही है। भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (Sebi) ने मंगलवार को उन्हे समन भेजा है। दरअसल सेबी ऐप्टेक लिमिटेड के शेयरों से जुड़े मामले की जांच कर रही है। यह एजुकेशन कंपनी झुनझुनवाला और उनके परिवार की है।
इकोनॉमिक टाइम्स की खबर के मुताबिक सेबी इस परिवार के दूसरे सदस्यों की भूमिका की भी जांच कर रहा है, जो इस कंपनी में शेयरधारक हैं। साथ ही, इन्वेस्टर रमेश एस दमानी और कंपनी में डायरेक्टर मधु जयाकुमार सहित कुछ बोर्ड मेंबर्स के रोल की भी जांच हो रही है। 24 जनवरी को झुनझुनवाला के अलावा उनकी पत्नी रेखा, भाई राजेश कुमार, सास सुशीला देवी गुप्ता को भी सेबी ने पूछताछ के लिए बुलाया था। मुंबई के बांद्रा-कुर्ला कॉम्प्लेक्स स्थित सेबी के मुख्यालय में झुनझुनवाला से करीब दो घंटे तक पूछताछ की गई थी।
बता दें कि इनसाइडर ट्रेडिंग या भेदिया कारोबार शेयर बाजार में ट्रेडिंग का ऐसा अवैध तरीका है जिसके तहत कंपनी से जुड़ा कोई व्यक्ति अपनी कंपनी के बारे में गोपनीय जानकारी हासिल कर उसका फायदा उठाता है और उसके आधार पर शेयरों की खरीद-फरोख्त कर लाभ कमाता है। सेबी कानून 1992 के तहत इनसाइडर ट्रेडिंग अपराध है।
शेयर चुनने में महारत के कारण प्राय: भारत के वॉरेन बफे कहे जाने वाले राकेश झुनझुनवाला देश के चुनिंदा अमीर निवेशकों में शामिल हैं। ब्लूमबर्ग के अनुमान के अनुसार उनके पोर्टफोलियो के शेयरों की वैल्यू करीब 11,140 करोड़ रुपये है। उन्होंने 2006 में ऐप्टेक के शेयर 56 रुपये पर खरीदे थे। उसके बाद से इसमें उनके और उनके परिवार के सदस्यों का स्टेक बढ़कर 49 प्रतिशत तक हो गया है