ट्रैवलिंग का फलता-फूलता बिजनेस, एशिया के हवाई अड्डे ले रहे हैं छोटे शहरों का आकार

Edited By jyoti choudhary,Updated: 10 Aug, 2019 03:03 PM

booming travel is transforming asian airports into mini cities

बिजिंग के दक्षिण किमारें पर एक बड़ी स्टारफिश के आकार की बन रही इमारत एक छोटे से शहर का रुप तैयार कर रही है। न्यू बिजिंग डैक्सिंग एयरपोर्ट जब सितंबर में शुरू होगा तो यह दुनिया का सबसे बड़ा हवाई अड्डा होगा। इसके निर्माण पर 80

बिजनेस डेस्कः बिजिंग के दक्षिण किमारें पर एक बड़ी स्टारफिश के आकार की बन रही इमारत एक छोटे से शहर का रुप तैयार कर रही है। न्यू बिजिंग डैक्सिंग एयरपोर्ट जब सितंबर में शुरू होगा तो यह दुनिया का सबसे बड़ा हवाई अड्डा होगा। इसके निर्माण पर 80 बिलियन युआन ($11.3 बिलियन) लागत आएगी। चीन सरकार चाहती है कि हवाई अड्डे को व्यापारियों का केंद्र बनाया जाए। इसके साथ ही स्थानीय तथा यात्रियों का यह आकर्षण केंद्र बन जाए। इन हवाई अड्डों पर अपार्टमेंट के अलावा प्रदर्शनी स्थान और चिकित्सा केंद्र भी खोले जाएंगे।

सलाहाकार फर्म रोलैंड बर्गर GmbH के पार्टनर Yu Zhanfu ने कहा कि यह हवाई अड्डा बिजिंग के दीर्घकालीन अर्थव्यवस्था को बढ़ाने की गारंटी का मार्ग बनेगा। यू ने कहा कि उन्हें आशा है कि यह एयरपोर्ट शहर की भूमिका के रुप में प्रोत्साहन देगा और यह घरेलू यात्रियों व विदेश जाने वाले यात्रियों का संपर्क केंद्र बनेगा। 

डैक्सिंग एशिया में बहुत से एयरपोर्ट प्रोजैक्टों में से एक है। इन सब पर 100 बिलियन डॉलर की लगात आएगी और यह क्षेत्र के बढ़ रहे मध्यम वर्ग के यात्रियों को खपाने में मदद करेगा। एयर एसोसिएशन फोरकॉस्ट एशिया ट्रैवल की मांग है कि 2037 तक यह उत्तरी अमेरिका और यूरोप दोनों से आगे निकल जाएगा। लगभग दो दर्जन हवाई अड्डे अगले 6 वर्षों में शुरू किए जाएंगे, जिसमें बिजिंग से लेकर मुंबई तक शहर शामिल होंगे। मौजूदा एयरपोर्ट पर टर्मिनल और रनवे को बढ़ाया जाएगा।

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