भारत-यूके मुक्त व्यापार समझौते से भारत को सीमित व्यापारिक लाभ होगा: GTRI

Edited By jyoti choudhary,Updated: 18 Oct, 2023 10:49 AM

india uk free trade agreement will bring limited trade benefits to india gtri

अंतरराष्ट्रीय व्यापार पर नजर रखने वाले और विभिन्न देशों के बीच होने वाले व्यापार के आंकड़ों का विश्लेषण करने वाले थिंक टैंक ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनिशिएटिव (जीटीआरआई) ने दावा किया है कि भारत और यू.के. के बीच होने जा रहे प्रस्तावित मुक्त व्यापार

बिजनेस डेस्कः अंतरराष्ट्रीय व्यापार पर नजर रखने वाले और विभिन्न देशों के बीच होने वाले व्यापार के आंकड़ों का विश्लेषण करने वाले थिंक टैंक ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनिशिएटिव (जीटीआरआई) ने दावा किया है कि भारत और यू.के. के बीच होने जा रहे प्रस्तावित मुक्त व्यापार समझौते (एफ.टी.ए.) के साथ भारत को सीमित कारोबारी लाभ होगा क्योंकि भारत द्वारा यू.के. से इंपोर्ट की जाने वाली अधिकांश वस्तुओं पर पहले से ही बहुत कम कर लगाया जाता है। भारत से ब्रिटेन में आयातित वस्तुओं पर औसत शुल्क 4.2 प्रतिशत है।

भारत द्वारा यू.के. को होने वाले निर्यात में वृद्धि केवल एफ.टी.ए. पर निर्भर नहीं होगी और यह इस बात पर निर्भर करेगा कि भारत यू.के. को भेजे जाने वाले सामान की गुणवत्ता में कितना सुधार आता है। हालांकि कपड़े, जूते और कृषि से संबंधित सामान बनाने वाली फैक्टरियों को टैक्स रेट कम होने का फायदा हो सकता है।

भारत और ब्रिटेन के बीच मुक्त व्यापार समझौते की बातचीत आखिरी दौर में है और दोनों देश हर हफ्ते इस मुद्दे पर चर्चा कर व्यापार समझौते को अंतिम रूप देने में लगे हुए हैं। ऐसा माना जा रहा है कि यूके के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक इस व्यापार समझौते पर हस्ताक्षर करने के लिए अक्तूबर के आखिरी सप्ताह में भारत आ सकते हैं। भारत द्वारा यू.के. भेजी जाने वाली 6 अरब डॉलर की दवाइयां, हीरे, पेट्रोलियम उत्पाद, मशीन के कलपुर्जे, हवाई जहाज और लकड़ी के फर्नीचर पहले से ही कर मुक्त हैं। इस व्यापार समझौते के बाद भारत द्वारा यू.के. को भेजे जाने वाले 5 अरब डॉलर के टैक्सटाइल्स कपड़े, महिलाओं के कपड़े, कालीन, समुद्री उत्पाद, आम, अंगूर और जूते पर भी टैक्स कम हो जाएगा। फिलहाल यू.के. कपड़ों के उत्पादों पर 4 प्रतिशत टैक्स लगाता है जबकि शर्ट, पैंट और औरतों के कपड़ों पर यू.के. द्वारा 12 प्रतिशत टैक्स लगाया जाता है। अगर भारत के साथ यू.के. का समझौता हो जाता है तो यह उत्पाद बनाने वाले उत्पादकों को फायदा होगा।

दूसरी ओर भारत द्वारा यू.के. से आने वाले सामान पर भारी टैक्स लगाया जाता है अगर भारत यू.के. से आने वाले पेट्रोलियम उत्पादों, व्हिस्की, दवाओं और मशीनरी पर टैक्स की दर को कम कर देता है तो यू.के. को इसका बहुत फायदा होगा और यू.के. के उत्पादकों के लिए भारत का एक बड़ा बाजार खुल जाएगा। हालांकि भारत डायरी उत्पादों जैसे कुछ प्रोडक्ट पर टैक्स की दर कम करने के लिए तैयार नहीं है क्योंकि यह क्षेत्र भारत के लिए राजनीतिक रूप से संवेदनशील है।

  • भारत द्वारा यू.के को होने वाले निर्यात पर टैक्स की औसत कर 4.2 प्रतिशत
  • भारत द्वारा यू.के को भेजे जाने वाले 6 अरब डॉलर के पेट्रोलियम उत्पाद, दवाइयां, हीरे, मशीन के कलपुर्जे और हवाई जहाज पर कोई टैक्स नहीं।
  • भारत को हो सकता है फायदा (अगर यू.के. टैक्सटाइल कपड़े, जूते और कृषि उत्पादों पर टैक्स की दर कम करता है तो भारत को फायदा हो सकता है।
  • यदि भारत पेट्रोलियम उत्पादों, व्हिस्की और दवाओं पर टैक्स की दर कम करता है, तो यू.के. को फायदा हो सकता है।

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