Edited By jyoti choudhary,Updated: 25 May, 2019 12:29 PM
भारतीय रिजर्व बैंक ने बड़ी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (एनबीएफसी) के गंभीर नकदी संकट के हल के लिए दिशानिर्देशों का प्रस्ताव किया है, जिससे आईएलएंडएफएस जैसे ऋण संकट की पुनरावृत्ति को रोका जा सके।
मुंबईः भारतीय रिजर्व बैंक ने बड़ी गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (एनबीएफसी) के गंभीर नकदी संकट के हल के लिए दिशानिर्देशों का प्रस्ताव किया है, जिससे आईएलएंडएफएस जैसे ऋण संकट की पुनरावृत्ति को रोका जा सके। प्रस्ताव के अनुसार सभी जमा लेने वाली एनबीएफसी तथा जमा स्वीकार नहीं करने वाली 5,000 करोड़ रुपए के आकार वाले एनबीएफसी के लिए लिक्विड कवरेज रेशियो (एलसीआर) व्यवस्था शुरू की जाएगी।
रिजर्व बैंक ने एनबीएफसी और मूल निवेश कंपनियों (सीआईसी) के लिए तरलता जोखिम प्रबंधन रूपरेखा पर सर्कुलर का मसौदा जारी किया है। एलसीआर व्यवस्था की ओर सुगम तरीके से जाने के लिए इस प्रस्ताव को अप्रैल, 2020 से अप्रैल, 2024 के दौरान क्रियान्वित किया जाएगा।