Edited By Riya bawa,Updated: 03 Dec, 2019 03:39 PM
दिल्ली विश्वविद्यालय के डीन एग्जामिनेशन प्रो. विनय गुप्ता ने सोमवार को कॉलेजों के प्रिंसिपलों को पत्र लिखा...
नई दिल्ली: दिल्ली विश्वविद्यालय के डीन एग्जामिनेशन प्रो. विनय गुप्ता ने सोमवार को कॉलेजों के प्रिंसिपलों को पत्र लिखा है। इस पत्र में यह जानकारी (डाटा) मांगी गई है कि कौन-कौन शिक्षक जिसमें, सुपरिटेंडेंट, डिप्टी सुपरिटेंडेंट और इंजविलेटर नवम्बर-दिसम्बर में हो रही सेमेस्टर परीक्षा में ड्यूटी पर है।
वहीं शिक्षकों ने इस कदम को शिक्षकों के बंद को फेल करने की साजिश बताते हुए इसका विरोध किया है। दिल्ली विश्वविद्यालय की एसी पूर्व सदस्य प्रो. हंसराज सुमन ने डीयू प्रशासन के इस कदम की कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि यह कदम 5 हजार एडहॉक टीचर्स को दिल्ली विश्वविद्यालय से बाहर करने की गहरी साजिश है। उन्होंने कहा है कि यह डूटा के प्रस्तावित विश्वविद्यालय बंद की अपील को कमजोर करने की साजिश है। मगर अब शिक्षक समुदाय और एडहॉक शिक्षक इस बार आर-पार की लड़ाई के मूड में है।
उन्होंने कहा कि दिल्ली विश्वविद्यालय में 5 हजार तदर्थ शिक्षकों में से 50 फीसदी से ऊपर आरक्षित वर्ग के शिक्षक हैं जो पिछले 10 से 15 वर्षों से तदर्थ रूप में पढ़ा रहे हैं। गेस्ट टीचर्स नियुक्त करने के प्रावधान में आरक्षण व्यवस्था को समाप्त करने की साजिश है, जिसे हम किसी भी हालत में विश्वविद्यालय प्रशासन के मंसूबे को पूरा नहीं होने देंगे। उन्होंने यह भी बताया कि 3 दिसम्बर को विश्वविद्यालय परिसर में बहुजनों का एक कैंडल मार्च निकाला जाएगा।