Edited By ,Updated: 02 Apr, 2015 04:11 PM
क्या कोई इंसान भगवान हो सकता है? धर्म और आस्था पर कुछ भी टिप्पणी करना विवादास्पद हो सकता है। समय-समय पर ऐसे लोग सामने आते हैं जो दावा करते हैं कि उनमें दैवीय शक्ति हैं या यूं कहते हैं कि वह भगवान का स्वरूप हैं।
ऊना (सुरेंद्र): क्या कोई इंसान भगवान हो सकता है? धर्म और आस्था पर कुछ भी टिप्पणी करना विवादास्पद हो सकता है। समय-समय पर ऐसे लोग सामने आते हैं जो दावा करते हैं कि उनमें दैवीय शक्ति हैं या यूं कहते हैं कि वह भगवान का स्वरूप हैं। अनेक स्थानों पर ऐसा दावा करने वाले भगवाधारी साधु सामने आते हैं। जब इस प्रकार के अवतार के दावे होते हैं तो इसकी हवा रातों-रात जोर पकड़ने लगती है।
ऐसा ही कुछ हिमाचल प्रदेश के ऊना जिले में देखने को मिला है। इन दिनों जंगल में वट वृक्ष के नीचे बैठे ये बाबा लोगों के कौतुहल का केन्द्र बने हुए हैं। बताया जा रहा है कि बाबा विशाल दास महाराज के चमत्कार के बारे में सुनकर लोग दूर-दूर से उनका आशीर्वाद लेने के लिए पहुंच रहे हैं। इस लोगों में से कई बड़े अधिकारी एवं नेता भी शामिल हैं।
जानकारी के अनुसार ऊना के तलमेहड़ा में सदाशिव ध्यूंसर महादेव मंदिर से कुछ दूरी पर जंगल इस बाबा के जयकारों से गूंज रहा है। दिन-रात यहां पर भक्तजनों का तांता लगा हुआ है। बताया जा रहा है कि लगभग 1 महीने पहले वट वृक्ष के नीचे बैठे युवा बाबा से लोग इसलिए ज्यादा हैरान हैं क्योंकि बाबा अधिकांश आगुंतक को उसके नाम से पुकारते हैं। वह बिना पूछे ही भक्त का नाम लेकर उसे बुलाते हैं और उसकी समस्याएं भी बताते हैं।
लोगों का कहना है कि आज तक उन्होंने ऐसे बाबा के बारे में कभी नहीं सुना था जो बिना पूछे ही उनका नाम लेकर बुलाते हैं। लोगों की आस्था बाबा के प्रति दिन ब दिन बढ़ती जा रही है। उधर, शिवराम जनकल्याण समिति बंगाणा के अध्यक्ष एवं प्रमुख समाज सेवी रूमेल कुमार ने तलमेहड़ा स्थित बाबा के यहां पर आने-जाने वाले भक्तों के लिए एक महीने के लंगर का आयोजन किया है।
यह युवा बाबा भगवा वस्त्र और झोली-चिमटा धारण किए हुए मूलत: ऊना जिला के कुटलैहड़ क्षेत्र के रहने वाले है। उन्होंने रायपुर स्कूल से बारहवीं परीक्षा पास करने के बाद आई.टी.आई. में भी प्रवेश लिया था। उसके बाद तलवाड़ा में किसी निजी कंपनी में नौकरी भी की, लेकिन कुछ समय बाद ही वे आश्रम में साधु संगत की शरण में चले गए और लोगों ने बाबा को इसी रूप में देखा।