Edited By Tanuja,Updated: 04 Feb, 2019 02:36 PM
कभी सुना है कि स्मॉग (Smog) की वजह से नाक व आंखों से खून बहने लगे। हो गए न हैरान लेकिन ऐसा हो रहा है थाईलैंड के बैंकॉक में जहां स्मॉग की वजह से लोगों की हालत इतनी खराब हो गई है कि...
बैंकॉक: लगातार बढ़ते वायु प्रदूषण के चलते पूरी दुनिया इसके खतरों से जूझ रही है। विकसित देशों में सबसे अग्रणी अमरेकिा और विकासशील देश चीन और भारत के अलावा थाईलैंड जैसे देश भी इस जानलेवा प्रदूषण से जूझ रहे हैं। थाईलैंड की राजधानी बैंकाक में तो स्मॉग (Smog) की वजह से लोगों की नाक व आंखों से भी खून बहने लगा है। सिर्फ इतना ही नही बल्कि इस जहरीली हवा ने PM2.5 को इतना दूषित कर दिया है कि लोगों के फेफड़ों में भी बुरा असर पड़ने लगा है।
इस शहर में सिर्फ इंसान ही नहीं बल्कि जानवरों की सेहत पर भी बहुत बुरा असर देखा जा रहा है। एक्सपर्ट ने चेताया है कि गाड़ियों, शहर में हो रहे धूल वाले काम (निर्माण परियोजनाएं), खेतों को जलाने और शहरों में बिकने वाले स्ट्रीट फूड्स के धुएं की वजह से पूरा बैंकॉक दूषित हो चुका है।बैंकॉक में रहने वाले एक शख्स ने अपना एक्सपीरिएंस बताते हुए कहा कि दो दिन पहले उनकी नाक में सांस लेते हुए दर्द हुआ। पूरी रात छींके आईं और सुबह तक हालत इतनी खराब हुई कि नाक से खून बहने लगा।
इस शहर की हालत किस कदर खराब है इन तस्वीरों को देखकर इस बात का अंदाज़ा लगाया जा सकता है। पूरा शहर छीकों, खून भरी खांसी-जुकाम से परेशान है। फेस मास्क लगाने के बावजूद लोगों की आंखों से खून निकलने लगा है। एक शख्स का कहना है कि इस स्मॉग की वजह से उन्हें लन्ग इन्फेक्शन (Lung Infection) हुआ, जिसके बाद लगातार तीन दिनों तक उलटी और खांसी में खून निकला। थाइलैंड की सरकार इस जहरीली हवा के चलते शहर में मौजूद 439 स्कूलों को बंद कर दिया और हर दिन ड्रोन्स की मदद से पानी छिड़का जा रहा है ताकि स्मॉग को कम किया जा सके। लेकिन बैंकॉक में स्मॉग कम होने का नाम ही नहीं ले रहा है।
दिल्ली में हालात बेहद खराब
भारत की राजधानी दिल्ली में हालात भी बेहद खराब हैं। स्मॉग से बिगड़ती फिजा को देखते हुए सरकार ने फिलहाल औद्योगिक गतिविधियां जैसे निर्माण और कुछ कारखाने बंद करने का निर्णय लिया है, लेकिन स्वास्थ्य पर इसके गंभीर खतरे को देखते हुए सीपीसीबी ने परामर्श जारी किया है कि जब भी इस तरह समस्या या वायु की गुणवत्ता गंभीर रूप से खराब हो तो लोगों को बाहर निकलने से बचना चाहिए। ये बच्चों, बुजुर्गों और हृदय तथा फेफड़ों की समस्या से जूझ रहे लोगों के लिए घातक है।