Edited By Tanuja,Updated: 25 Nov, 2018 12:37 PM
ब्रिटेन में बाइकसवार चोरों को पकड़ने का पुलिस ने नया तरीका ढूंढ निकाला है। ब्रिटिश जांच एजेंसी स्कॉटलैंड यार्ड ने हाल ही में सोशल मीडिया पर कुछ वीडियो जारी किए हैं...
लंदनः ब्रिटेन में बाइकसवार चोरों को पकड़ने का पुलिस ने नया तरीका ढूंढ निकाला है। ब्रिटिश जांच एजेंसी स्कॉटलैंड यार्ड ने हाल ही में सोशल मीडिया पर कुछ वीडियो जारी किए हैं। इनमें पुलिस की गाड़ियां बाइकसवार चोर और लुटेरों को पीछे से टक्कर मारती नजर आ रही है। एजेंसी ने अपराधियों को पकड़ने की इस तरकीब को टैक्टिकल कॉन्टैक्ट नाम दिया है।
मेट्रोपोलिटन पुलिस के आंकड़ों के मुताबिक, टैक्टिकल कॉन्टैक्ट के तरीके को अपनाने के बाद से अकेले लंदन में बाइक सवारों के अपराध में 36% की कमी आई है। फोन-बैग छीनने, एसिड फेंकने वालों में पुलिस के इस रवैये से डर फैल रहा है। जहां पिछले साल जनवरी से अक्तूबर के बीच बाइक सवारों से जुड़े अपराध के 19,455 मामले सामने आए थे। वहीं, इस साल 12,419 अपराध दर्ज किए गए। लंदन में कुछ समय पहले तक अपराधियों को दौड़ाकर पकड़ने में पुलिस काफी एहतियात बरतती थी। तेज रफ्तार में पीछा करने के दौरान बाइकसवार चोर के जख्मी होने का खतरा रहता था।
बाइक सवारों की जान गंवाने पर पुलिसकर्मी की नौकरी जाने का भी जोखिम रहता था। इसके चलते या तो अपराधी पुलिस से आगे निकल जाया करते थे या समय पाकर अपना हेलमेट उतार देते थे ताकि पुलिस उन्हें टक्कर ना मारे। हालांकि, अब सरकार ने पुलिस अधिकारियों को कानूनी सुरक्षा मुहैया करा दी है। नए नियमों के तहत अब पुलिसवाले अपनी गाड़ियों से अपराधियों को सीधी टक्कर मार सकते हैं, फिर चाहे वे कितनी भी तेज या गलत तरीके से गाड़ी चला रहे हों या उन्होंने हेलमेट भी न पहना हो।
पिछले दो सालों में बाइक सवार अपराधों की संख्या में बढ़ोतरी का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि एक समय लंदन में हर घंटे राहगीरों से फोन झपटने की घटना 30 तक पहुंच चुकी थी। लेकिन लंदन विभाग अब पुलिसकर्मियों को अपराधियों को पकड़ने के लिहाज से गाड़ी चलाने की ट्रेनिंग भी मुहैया करा रहा है। इसके तहत उन्हें दूसरे लोगों को बिना घायल किए भी पकड़ने में आसानी हो रही है। बाइकसवार चोरों ने जिन बड़ी हस्तियों को निशाना बनाया है, उनमें कॉमेडियन-एक्टर माइकल मैकिनटायर से लेकर गृह मंत्री साजिद जाविद तक शामिल हैं। हालांकि, जाविद के साथ चोरी की घटना उनके मंत्री बनने से पहले की थी।