Edited By Rohini Oberoi,Updated: 16 Jul, 2025 09:10 AM

भारत ने औसत इंटरनेट स्पीड के मोर्चे पर पिछले करीब दो साल में 93 अंकों की ज़बरदस्त छलांग लगाई है जिससे अब यह ग्लोबल रैंकिंग में 26वें स्थान पर पहुँच गया है। इतना ही नहीं वैश्विक स्तर पर डेटा के उपयोग की बात करें तो भारत दुनिया का नंबर 1 देश बना हुआ...
नेशनल डेस्क। भारत ने औसत इंटरनेट स्पीड के मोर्चे पर पिछले करीब दो साल में 93 अंकों की ज़बरदस्त छलांग लगाई है जिससे अब यह ग्लोबल रैंकिंग में 26वें स्थान पर पहुँच गया है। इतना ही नहीं वैश्विक स्तर पर डेटा के उपयोग की बात करें तो भारत दुनिया का नंबर 1 देश बना हुआ है जो देश के डिजिटल विकास की एक बड़ी कहानी बयां करता है।
दुनिया में सबसे ज़्यादा डेटा खपत भारत में
एरिक्सन मोबिलिटी रिपोर्ट के अनुसार भारत में प्रति व्यक्ति मासिक डेटा खपत 32 जीबी है जो दुनिया में सबसे अधिक है। तुलनात्मक रूप से देखें तो चीन में यह 29 जीबी और अमेरिका में 22 जीबी है। कुछ अन्य स्रोतों के अनुसार 2024 में भारत में औसत डेटा खपत प्रति उपयोगकर्ता 24.6 जीबी थी जो वैश्विक औसत 19 जीबी से काफी ज़्यादा है। यह आँकड़े दर्शाते हैं कि भारतीय डिजिटल सेवाओं और ऑनलाइन कंटेंट का खूब इस्तेमाल कर रहे हैं।
इंटरनेट स्पीड में भी भारत का ज़बरदस्त सुधार
ओकला इंटरनेट स्पीड डेटासेट बताता है कि अप्रैल-जून 2025 की अवधि में भारत की मीडियन डाउनलोड स्पीड 136.53 एमबीपीएस थी। सितंबर 2022 में 119वें स्थान से भारत की रैंकिंग में यह सुधार 93 अंकों का है। उस समय भारत की औसत इंटरनेट स्पीड मात्र 13.87 एमबीपीएस थी। रिपोर्ट के अनुसार भारत तेज़ी से अन्य प्रमुख वैश्विक बाज़ारों के साथ इंटरनेट स्पीड में फासले को कम कर रहा है जिसका मुख्य कारण देश में 5G कवरेज का तेज़ी से विस्तार है।

इंटरनेट स्पीड में अमेरिका से आगे चीन
दुनिया के बड़े देशों से तुलना करें तो 176.75 एमबीपीएस स्पीड के साथ अमेरिका की ग्लोबल रैंकिंग 13वीं है, जबकि चीन की रैंकिंग 207.98 एमबीपीएस के साथ 8वीं है। रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में 5G नेटवर्क का विस्तार दुनिया में सबसे तेज़ इंटरनेट स्पीड विस्तार में से एक है जो इसकी रैंकिंग में सुधार का प्रमुख कारण है।
भारत में 5G टावरों की हिस्सेदारी 57% हुई
रिपोर्ट के अनुसार भारत में 5G टावरों का हिस्सा कुल दूरसंचार टावरों का 57% हो चुका है। मार्च 2025 तक भारत का 5G सब्सक्राइबर बेस 32.6 लाख तक पहुँच गया जो कुल वायरलेस कनेक्शनों का 28% है। यह तेज़ी से बढ़ती 5G पैठ देश में हाई-स्पीड इंटरनेट के बढ़ते उपयोग को दर्शाती है।
ऐप्स का उपयोग करने में भारतीय सबसे आगे
कंसल्टेंसी कंपनी ईवाय के अनुसार 2024 में भारतीयों ने फ़ोन ऐप्स पर प्रतिदिन 4.9 घंटे बिताए जो 2023 से 3.1% अधिक है। कुल मिलाकर भारत ने डिजिटल प्लेटफ़ॉर्मों पर 1.1 लाख करोड़ घंटे से अधिक समय बिताया जो विश्व में सबसे अधिक है। यह आँकड़ा भारतीय यूज़र्स की डिजिटल संलग्नता को स्पष्ट रूप से दिखाता है।

इंटरनेट स्पीड में सिंगापुर और यूएई सबसे आगे
तेज़ इंटरनेट स्पीड देने के मामले में दुनिया के छोटे देश सबसे आगे बने हुए हैं। मोबाइल इंटरनेट स्पीड के मामले में यूएई दुनिया की सबसे तेज़ 539 एमबीपीएस इंटरनेट स्पीड देने वाला देश है जबकि फिक्स्ड इंटरनेट स्पीड के मामले में सिंगापुर 372 एमबीपीएस स्पीड के साथ दुनिया में सबसे आगे बना हुआ है।
भारत की यह डिजिटल प्रगति देश के लिए एक बड़ी उपलब्धि है जो यह दर्शाती है कि देश डिजिटल क्रांति में तेज़ी से आगे बढ़ रहा है।