Edited By jyoti choudhary,Updated: 06 May, 2020 02:08 PM
कोरोना वायरस के चलते देश में लॉकडाउन जारी है। इसको देखते हए सरकार ने कारोबारियों के लिए वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) का सालाना रिटर्न दाखिल करने के लिए राहत दे दी है। सरकार ने वित्त वर्ष 2018-19 के
बिजनेस डेस्कः कोरोना वायरस के चलते देश में लॉकडाउन जारी है। इसको देखते हए सरकार ने कारोबारियों के लिए वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) का सालाना रिटर्न दाखिल करने के लिए राहत दे दी है। सरकार ने वित्त वर्ष 2018-19 के लिए GST रिटर्न फाइल करने की तारीख बढ़ाकर 30 सितंबर 2020 कर दी है। इससे पहले वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इनके लिए मार्च महीने का जीएसटी रिटर्न दाखिल करने की लास्ट डेट 5 मई तक बढ़ाई थी।
5 मई को जारी अधिसूचना में, केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क (CBIC) ने पंजीकृत व्यक्तियों को 21 अप्रैल से 30 जून के बीच इलेक्ट्रॉनिक सत्यापन कोड के माध्यम से सत्यापित GSTR-3B प्रस्तुत करने की अनुमति दी है।
GST माफ करने की हो रही मांग
व्यापारी जीएसटी माफ करने की मांग कर हैं इसी को देखते हुए सरकार ने जीएसटी भरने की आख़िरी तारीख को आगे बढ़ाया है। सरकार के अनुसार किसी सेक्टर को पूरा टैक्स माफ करने से क्रेडिट चेन में दिक्कत आएगी और समस्याएं बढ़ेंगी।
राहत पैकेज देने पर विचार कर रही सरकार
इससे पहले अप्रैल महीने के आखिर में खबर आई थी कि सरकार लॉकडाउन से प्रभावित सेक्टर्स को गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (जीएसटी) राहत पैकेज देने पर विचार कर रही है। जानकारी के अनुसार इस योजना के तहत कोरोना से सबसे ज्यादा प्रभावित रेस्ट्रॉन्ट्स, एविएशन और हॉस्पिटैलिटी जैसे सेक्टरों को यह छूट दी जा सकती है कि वे 6 महीनों तक जीएसटी का भुगतान न करें। इसके अलावा रियल एस्टेट सेक्टर के लिए जीएसटी रेट घटाया जा सकता है। लेकिन अभी तक इस तरह की कोई भी घोषणा सरकार ने नहीं की है।