Edited By vasudha,Updated: 18 Aug, 2021 01:51 PM
अफगानिस्तान में खौफ के माहौल के बीच एक ऐसी तस्वीर सामने आई है, जिसे देखकर लाखों महिलाओं में हिम्मत पैदा हो सकती है। जब लोग अपने जान बचाने के लिए काबुल छाेड़ रहे थे तो तभी कुछ महिलाएं तालिबान के सामने डटकर खड़ी थी। इनकी मांग थी कि अफगानिस्तान से जुड़े...
इंटरनेशनल डेस्क: अफगानिस्तान में खौफ के माहौल के बीच एक ऐसी तस्वीर सामने आई है, जिसे देखकर लाखों महिलाओं में हिम्मत पैदा हो सकती है। जब लोग अपने जान बचाने के लिए काबुल छाेड़ रहे थे तो तभी कुछ महिलाएं तालिबान के सामने डटकर खड़ी थी। इनकी मांग थी कि अफगानिस्तान से जुड़े अहम मसलों पर महिलाओं की भी राय ली जाए।
ये महिलाएं अफगानिस्तान अपने हकों, अधिकारों के लिए प्रदर्शन करती देखी गई। हाथ में तख्ती लिए खड़ी इन महिलाओं की मांग थी कि अफगान की राजनीति, शासन और अर्थव्यवस्था से जुड़े फैसलों में उनको अपनी भी हिस्सेदारी चाहिए। दरअसल तालिबान नेताओं ने स्थानीय धार्मिक नेताओं को तालिबान लड़ाकों के साथ ‘‘विवाह’’ के लिए 15 वर्ष से अधिक उम्र की लड़कियों और 45 वर्ष से कम उम्र की विधवाओं की सूची प्रदान करने का आदेश जारी किया। अभी यह मालूम नहीं हो सका है कि उनके हुक्म की तामील हुई है या नहीं ।
तालिबान का यह निर्देश इस बात की कड़ी चेतावनी देता है कि आने वाले दिनों में क्या होने वाला है और 1996-2001 के तालिबान के क्रूर शासन की याद दिलाता है जब महिलाओं को लगातार मानवाधिकारों के उल्लंघन, रोजगार और शिक्षा से वंचित किया गया, बुर्का पहनने के लिए मजबूर किया गया और एक पुरुष ‘‘संरक्षक’’ या महरम के बिना उनके घर से बाहर जाने पर पाबंदी लगा दी गई।