Edited By Tanuja,Updated: 08 Feb, 2024 04:28 PM
विश्व उइगर कांग्रेस को वर्ष 2024 के लिए नोबेल शांति पुरस्कार के लिए चुना गया है। ऐसा दूसरी बार है जब जर्मनी आधारित अधिकार संगठन
इंटरनेशनल डेस्कः विश्व उइगर कांग्रेस को वर्ष 2024 के लिए नोबेल शांति पुरस्कार के लिए चुना गया है। ऐसा दूसरी बार है जब जर्मनी आधारित अधिकार संगठन विश्व उइगर कांग्रेस को लगातार इस पुरस्कार के लिए नामित किया गया है। इससे पहले वर्ष 2023 में भी इस अधिकार संगठन को नोबेल के शांति पुरस्कार से नवाजा जा चुका है। इस अधिकार संगठन को मानवाधिकारों के लिए लोगों की आवाज बनने और उइगर के शांति पूर्ण आजादी का समर्थन करने के लिए 2024 के नोबेल शांति पुरस्कार के लिए नामित किया गया है।
WUC ने एक प्रेस वार्ता में बताया कि कनाडाई सांसद, अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार उपसमिति के उपाध्यक्ष एलेक्सिस ब्रुनेले-डुसेप और इतालवी गणराज्य के सीनेटर और पूर्व इतालवी विदेश मंत्री गिउलिओ टेरजी की ओर से नोबेल पुरस्कार के लिए ये नामंकन प्रस्तुत किया गया। विश्व उइगर कांग्रेस के अध्यक्ष डोल्कुन ईसा ने कहा कि विश्व उइगर कांग्रेस को लगातार 2 वर्षों तक नोबेल पुरस्कार के लिए नामित होते देखना गर्व और सम्मान की बात है। यह नामांकन उइगरों के लिए लोकतंत्र और मानवाधिकारों को आगे बढ़ाने के लिए WUC के मूल्यवान प्रयासों की मान्यता में महत्वपूर्ण योगदान देता है।
ईसा ने कहा कि दो-दो बार नोबेल के शांति के लिए यह नामांकन एक शक्तिशाली संदेश भेजता है जो चीन द्वारा किए जा रहे उइगर नरसंहार के खिलाफ कार्रवाई करने की तत्काल आवश्यकता पर प्रकाश डालता है। उन्होंने कहा कि नोबेल शांति पुरस्कार के लिए विश्व उइगर कांग्रेस का नामांकन सत्तावाद के खिलाफ एक शक्तिशाली संदेश भेजता है। अंतरराष्ट्रीय समुदाय के लिए चीनी कम्युनिस्ट की ओर से लागू की गई उइगर मुसलमानों के नरसंहार की नीतियों को स्वीकारना और उसकी निंदा करना महत्वपूर्ण है।