Edited By Seema Sharma,Updated: 30 Sep, 2019 12:10 PM
पाकिस्तान की सीमा से भारत में घुसपैठ के लिए आतंकी चांद की चाल के हिसाब से साजिश रचते हैं। नैशनल इनवेस्टिगेशन एजेंसी की रिपोर्ट से खुलासा हुआ है कि पाकिस्तानी आत्मघाती हमलावरों ने भारत में प्रवेश के लिए न्यू मून नाइट्स (अमावस की रात) को चुना।
श्रीनगर: पाकिस्तान की सीमा से भारत में घुसपैठ के लिए आतंकी चांद की चाल के हिसाब से साजिश रचते हैं। नैशनल इनवेस्टिगेशन एजेंसी की रिपोर्ट से खुलासा हुआ है कि पाकिस्तानी आत्मघाती हमलावरों ने भारत में प्रवेश के लिए न्यू मून नाइट्स (अमावस की रात) को चुना। आतंकियों ने भारत में दाखिल होने के लिए देर रात 2 से 5 बजे तक के समय को चुना गया। रिपोर्ट के मुताबिक आतंकियों के इस समय घुसपैठ के पीछे वजह यह है कि नाइट विजन डिवाइस इस दौरान पूरी तरह से काम नहीं करते हैं।
ऐसे हुआ खुलासा
नैशनल इनवेस्टिगेशन एजेंसी ने तैयार की रिपोर्ट जम्मू-कश्मीर पुलिस के साथ भी शेयर की है। यह रिपोर्ट सुरक्षा बलों के साथ हुई 3 दर्जन से अधिक आतंकी वारदातों और सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ के विश्लेषण के बाद तैयार की गई है। कॉल डिटेल रेकॉर्ड्स और वीएचएफ सेट्स और पकड़े गए आतंकियों के बयानों के आधार पर यह निष्कर्ष निकाला गया है। वहीं जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के आतंकी अंतर्राष्ट्रीय बॉर्डर पर पहुंचने से पहले जीपीएस लोकेशन शेयर करते हैं। इसी लोकेशन के जरिए आतंकी घाटी में मौजूद अपने करिंदों से संपर्क करते हैं।
2016 और 2018 में नागरोटा और झझ्झर कोटली में हुए आतंकी हमलों के लिए आतंकियों ने कश्मीर जाने के लिए साम्बा-जम्मू-उधमपुर और साम्बा-मनसा-उधमपुर नैशनल हाईवे का इस्तेमाल किया था। रिपोर्ट के मुताबिक NH 44 से भी आतंकियों का खास कनेक्शन है क्योंकि यही से उनको ट्रकों के जरिए हमले वाली जगह तक पहुंचाया जाता है। रिपोर्ट में यह भी बताया गया कि आतंकी घटनास्थल पर तड़के पहुंचते हैं जब ज्यादा रोशनी नहीं होती।