इंगलैंड में क्रिसमस, दीवाली त्यौहार नहीं मनाए जाएंगे

Edited By ,Updated: 25 Sep, 2020 02:07 AM

christmas diwali festivals will not be celebrated in england

ब्रिटेन में इस वक्त कोरोना वायरस का हमला दोबारा हो जाने के भय का वातावरण है। सरकार ङ्क्षचतित है, जन-जीवन नियमों और पाबंदियों के अधीन है , प्राय: अर्ध-आपातकालीन-सी स्थिति है। आपदा से बचाव के नित्य नए कड़े नियम लागू किए जा रहे हैं। लोगों के आपस में...

ब्रिटेन में इस वक्त कोरोना वायरस का हमला दोबारा हो जाने के भय का वातावरण है। सरकार ङ्क्षचतित है, जन-जीवन नियमों और पाबंदियों के अधीन है , प्राय: अर्ध-आपातकालीन-सी स्थिति है। आपदा से बचाव के नित्य नए कड़े नियम लागू किए जा रहे हैं। लोगों के आपस में मेल-मिलाप की पाबंदियां सख्त कर दी गई हैं। छ: से अधिक लोग किसी जगह इकट्ठे नहीं हो सकेंगे, शादी विवाह, मनोरंजन पाॢटयों, समारोहों, शोक, दाह संस्कार तथा अन्य किसी भी प्रकार के समागम, सम्मेलनों में शामिल होने के लिए लोगों की संख्या-सीमा निर्धारित कर दी गई है और पबों रेस्तरांओं के बंद होने का समय निश्चित कर दिया गया है। 

उल्लंघन पर सख्त जुर्माना : मुंह-नाक को ढंक कर रखने के लिए ‘मास्क’ लगाना अनिवार्य होगा, वरना 2000 रुपए तत्काल जुर्माना। शादी इत्यादि समारोहों में भाग लेने वाले लोगों की संख्या 30 से आधी करके 15 कर दी गई है। उल्लंघन पर लगभग एक लाख रुपए जुर्माना।लोगों से अपील की गई है कि न सिर्फ वे स्वयं बल्कि दूसरों को भी इन नियमों का पालन करने के लिए प्रेरित करें और यदि वे अपने किसी पड़ोसी को उल्लंघन करते देखें तो उसकी रिपोर्ट पुलिस को करें। स्वास्थ्य मंत्री ने तो कहा है कि ‘‘अगर मैं अपने पड़ोसी या किसी अन्य व्यक्ति को नियम तोड़ते देखूंगा तो स्वयं फौरन ही उसकी ‘मुखबरी’ पुलिस को कर दूंगा।’’ 

और भी सख्त नियम लागू करने की चेतावनी : प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने मंगलवार अपने निवास-स्थान पर उच्च-स्तरीय संकट-कालीन समिति की बैठक के बाद सायं देर गए राष्ट्र के नाम प्रसारण में कहा कि कोरोना वायरस से उत्पन्न भीषण संकट के दृष्टिगत जनमानस की रक्षा हेतु कड़े नियम मजबूरी में लागू करने पड़ रहे हैं। पुलिस को आदेश दिए गए हैं कि पाबंदियों को सख्ती से लागू किया जाए और जरुरत पडऩे पर फौज को तत्काल बुला लिया जाए। प्रधानमन्त्री ने कहा है कि ये पाबंदियां और भी ज्यादा सख्त कर दी जाएंगी। यदि नियमों का पालन न किया गया तो यह पाबंदियां छ: महीने तक लागू रहने का अनुमान है। 

कोरोना ने जन-जीवन को बुरी तरह प्रभावित कर के रख दिया है। हर क्षेत्र पंगु-सा होकर रह गया है। बड़े-बड़े, छोटे-मोटे कारोबार बंद हो गए हैं, लाखों की संख्या में कर्मचारियों की छांटी ने देश की आॢथक स्थिति पर जो प्रभाव डाला है उसके परिणाम ङ्क्षचताजनक रूप धारण करने लगे हैं। स्थिति की गंभीरता को भांपते हुए सरकार ने जीवन को गतिशील बनाने और आॢथकता में स्फूॢत लाने के लिए घर ही से काम कर रहे लोगों को अपने दफ्तरों और कार्यस्थलों पर वापस आने के आदेश दिए थे, परन्तु कोरोना कोप के बढ़ते खतरों को देखते चार सप्ताह के अंदर ही सरकार ने इस फैसले को बदलते हुए अब कह दिया है कि घर से काम करने वाले पूर्वत: घर ही से काम करें। 

संक्रमण तीव्रगति से फैलता है : कोरोना संक्रमण ङ्क्षचताजनक तीव्रगति से बढ़ रहा है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि यदि उचित सावधानी न बरती जाए तो वायरस एक व्यक्ति से कम-से-कम तीन व्यक्तियों तक फैल जाता है। इसको फैलने से रोकने का सबसे प्रभावशाली उपाय उन नियमों का पालन है जो अधिकारियों ने नियत किए हैं तथा व्यक्तिगत स्तर पर मुख्यता साफ-सफाई, मास्क, एक-दूसरे से दूरियां, खान-पान में शुद्धता।-लंदन से कृष्ण भाटिया
 

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