Edited By Sarita Thapa,Updated: 24 Oct, 2025 06:00 AM

सनातन धर्म में हर साल कार्तिक मास की पूर्णिमा तिथि को देव दीपावली का पर्व मनाया जाता है। देव दीपावली भारतीय संस्कृति का एक विशेष पर्व है, जिसे मुख्य रूप से उत्तर भारत में बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है।
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Dev Diwali 2025: सनातन धर्म में हर साल कार्तिक मास की पूर्णिमा तिथि को देव दीपावली का पर्व मनाया जाता है। देव दीपावली भारतीय संस्कृति का एक विशेष पर्व है, जिसे मुख्य रूप से उत्तर भारत में बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है। इसे त्रिपुरी पूर्णिमा भी कहा जाता है। यह पर्व मुख्य रूप से काशी और उसके आस-पास के क्षेत्रों में प्रसिद्ध है। देव दीपावली, दीपावली के लगभग 15 दिन बाद मनाई जाती है। माना जाता है कि इस दिन काशी की पावन धरती में सभी देवी-देवता पधारते हैं और बहुत ही धूमधाम के साथ दीपावली मनाते हैं। इस दिन गंगा नदी के घाटों पर लाखों दीपक जलाए जाते हैं, जिससे वातावरण अत्यंत दिव्य और आलोकित हो जाता है। तो आइए जानते हैं देव दीपावली के शुभ मुहूर्त और महत्व के बारे में-

Dev Diwali 2025 Shubh Muhurat देव दीपावली 2025 शुभ मुहूर्त
पंचांग के अनुसार, कार्तिक मास की पूर्णिमा तिथि की शुरुआत 4 नवंबर को सुबह 10 बजकर 36 मिनट से होगी और इसका समापन 5 नवंबर को सुबह 6 बजकर 48 मिनट पर होगा। उदया तिथि के अनुसार, देव दीपावली 5 नवंबर को मनाई जाएगी।

Importance of Dev Deepawali देव दीपावली का महत्व
देव दीपावली का महत्व आध्यात्मिक और धार्मिक दोनों दृष्टियों से गहरा है। इस दिन गंगा घाटों पर विशेष आरती और सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित होते हैं। लोग अपने परिवार और मित्रों के साथ दीप जलाकर जीवन में सकारात्मक ऊर्जा और सौभाग्य का स्वागत करते हैं। यह पर्व लोगों को एकत्रित होने, मिलकर खुशियां मनाने और आपसी संबंध मजबूत करने का अवसर देता है। साथ ही दीपक जलाने का कार्य अंधकार पर प्रकाश की विजय का प्रतीक भी माना जाता है।
