Edited By Isha,Updated: 07 Jun, 2018 12:42 PM
मौत कब- कहां आ जाएं इसकी अंदाजा कोई नहीं लगा सकता। एेसी ही एक अनहोनी घटना अफ्रीका में हुई है जहां बपतिस्मा (ईसाई धर्म की दीक्षा के समय किया जाने वाला एक संस्कार) के दौरान झील के किनारे
इंटरनैशनल डेस्कः मौत कब- कहां आ जाएं इसकी अंदाजा कोई नहीं लगा सकता। एेसी ही एक अनहोनी घटना अफ्रीका में हुई है जहां बपतिस्मा (ईसाई धर्म की दीक्षा के समय किया जाने वाला एक संस्कार) के दौरान झील के किनारे अपने शिष्यों के साथ खड़े पादरी पर मगरमच्छ ने अचानक हमला कर दिया, हमले में घायल हुए पादरी की मृत्यु मौके पर ही हो गई। यह घटना पूर्वी अफ्रीकन देश इथियोपिया की है। जहां पादरी दोशो एश्हेते अपने 80 भक्तों के साथ रविवार को अबाया झील के किनारे बपतिस्मा करा रहे थे। तभी झील से एक खूंखार मगरमच्छ ने अचानक उन पर हमला कर दिया।
हमले की वजह से पादरी बुरी तरह घायल हो गए, जिस कारण मौके पर ही उनकी मृत्यु हो गई। हांलाकि, पादरी को बचाने के लिए स्थानीय मछुआरों ने भरपूर कोशिश की, लेकिन वो उनकी जान बचाने में नाकामयाब रहे। पादरी दोशो को मगरमच्छ ने पैरों, पीठ और हाथों पर बुरी तरह जख्मी कर दिया। जिस प्रजाति के मगरमच्छ ने पादरी पर हमला किया था, वह मगरमच्छ विश्व की सबसे लंबी नदी नील में पाया जाता है। इस प्रजाति के मगरमच्छ बड़े होने पर लगभग 20 फीट तक हो सकते है। यह अपने प्रजाति में सबसे खूंखार प्राणी भी माना जाता है।