Edited By Anil dev,Updated: 27 Jun, 2020 05:21 PM
संयुक्त अरब अमीरात (यूएईए) में रहले वाली एक भारतीय महिला वकील कोरोना वायरस की महामारी की वजह से फंसे और नौकरी गवां चुके करीब 2,000 हमवतनों की वापसी के लिए जरूरी कानूनी कागजी प्रक्रिया को मुफ्त में कराकर मदद कर रही हैं।
दुबई: संयुक्त अरब अमीरात (यूएईए) में रहले वाली एक भारतीय महिला वकील कोरोना वायरस की महामारी की वजह से फंसे और नौकरी गवां चुके करीब 2,000 हमवतनों की वापसी के लिए जरूरी कानूनी कागजी प्रक्रिया को मुफ्त में कराकर मदद कर रही हैं।
कानूनी प्रक्रिया पूरी करने में मदद कर रही हैं थॉमस
स्थानीय मीडिया में शनिवार को प्रकाशित खबर के मुताबिक 41 वर्षीय शीला थॉमस कोविड-19 की वजह से नौकरी गंवा चुके तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, उत्तर प्रदेश और बिहार के करीब 2,200 कामगारों की स्वदेश वापसी के लिए कानूनी प्रक्रिया पूरी करने में मदद कर रही हैं। गल्फ न्यूज से थॉमस ने कहा, इन भारतीयों को स्वदेश जाने के लिए कागजी प्रक्रिया पूरी करना अनिवार्य है क्योंकि कई लोगों की वीजा अवधि समाप्त हो गई है जबकि कई लोगों के पासपोर्ट नियोक्ताओं के पास हैं और वे विभिन्न कारणों से इन्हें नहीं लौटा रहे हैं। मैं इन परेशानियों के समाधान की जिम्मेदारी निभा रही हूं।
थॉमस रोजना 300 लोगों के भोजन की भी कर रही हैं व्यवस्था
उल्लेखनीय है कि थॉमस यूएई में गत 25 साल से रह रही हैं और वह निशुल्क आधार पर यह कार्य कर रही हैं। वह मूल रूप से केरल की रहने वाली हैं लेकिन उनकी परवरिश हैदराबाद में हुई। उन्होंने कहा, च्च्मेरा मोबाइल नंबर वायरल हो गया है। मुझे लगातार मदद के लिए फंसे हुए भारतीयों के कॉल आ रहे हैं और मैं उन्हें मना नहीं कर सकती। अपने काम के बारे में थॉमस ने बताया कि वह कामगार की स्थिति को समझने की कोशिश करती हैं। नियोक्ताओं से उनके दस्तावेज और पासपोर्ट वापस करने के लिए बात करती हैं ताकि वे अपने घर जा सके। कागजी प्रक्रिया दुरुस्त करवाती हैं ताकि उन्हें विमान में सवार होने के दौरान कोई परेशानी नहीं हो। थॉमस ने कहा, यह वह जमीन है जिसने मुझे बहुत कुछ दिया और अब यूएई और इसके लोगों को कुछ वापस करने का समय है। ये लोग यूएई के हैं और अभी उन्हें मदद की जरूरत है। गल्फ न्यूज के मुताबिक थॉमस रोजना 300 लोगों के भोजन की व्यवस्था भी कर रही हैं।