ममता ने मोदी सरकार पर साधा निशाना, कहा-केंद्र को बंगाल से इतनी एलर्जी क्यों

Edited By Updated: 23 Jan, 2022 07:05 PM

mamta targeted the modi government why is the center so allergic to bengal

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भाजपा पर निशाना साधते हुए रविवार को कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार इंडिया गेट पर नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा स्थापित करने का वादा करके महान स्वतंत्रता सेनानी पर आधारित राज्य की गणतंत्र दिवस झांकी को शामिल...

नेशनल डेस्कः पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भाजपा पर निशाना साधते हुए रविवार को कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार इंडिया गेट पर नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा स्थापित करने का वादा करके महान स्वतंत्रता सेनानी पर आधारित राज्य की गणतंत्र दिवस झांकी को शामिल न करने की अपनी गलती से पल्ला नहीं झाड़ सकती।

बनर्जी ने दोहराया कि झांकी को सरसरी तौर पर खारिज करने का कोई कारण नहीं बताया गया। उन्होंने यहां अपने संबोधन के दौरान कहा, ‘‘हम यहां रेड रोड पर गणतंत्र दिवस परेड के दौरान झांकी निकालेंगे। आप (लोग) देखेंगे कि यह कितनी जीवंत और रचनात्मक (झांकी) है, जो नेताजी की वीरता और स्वतंत्रता दिवस की 75वीं वर्षगांठ की भावना को समेटे हुए है। केंद्र झांकी को ठुकराकर पश्चिम बंगाल के साथ हुए अन्याय से अपना पल्ला नहीं झाड़ सकता है।''

तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) अध्यक्ष बनर्जी ने केंद्र पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा नीत केंद्र नेताजी के लापता होने के पीछे के रहस्य का पता लगाने के अपने वादे पर खरा नहीं उतर पाया। मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘आप नेताजी की मूर्ति लगाकर उनके प्रति प्रेम की घोषणा नहीं कर सकते, उनके लापता होने के रहस्य को उजागर करने के लिए आपने क्या किया? केंद्र की इस सरकार ने सत्ता में आने के बाद सभी रहस्यों को उजागर करने का वादा किया था, लेकिन वह विफल रही है।''

ममता ने कहा कि उनकी सरकार ने अपनी ओर से, ‘‘नेताजी से संबंधित सभी फाइलों का डिजिटलीकरण किया'' ताकि इन्हें सार्वजनिक किया जा सके। बनर्जी ने अमर जवान ज्योति को राष्ट्रीय युद्ध स्मारक ज्योति के साथ विलय करने के कदम पर भी केंद्र पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, ‘‘नेताजी की प्रतिमा स्थापित करके अमर जवान की लौ को बुझाने के आपके कृत्य का प्रायश्चित नहीं हो सकता है। कृपया युद्ध स्मारकों और प्रतिमाओं का राजनीतिकरण करना बंद करें।''

मुख्यमंत्री ने ‘‘योजना आयोग को भंग करने'' के लिए भी मोदी सरकार की आलोचना की और कहा कि उनकी सरकार नेताजी के उद्देश्यों को कायम रखते हुए एक बंगाल योजना आयोग का गठन करेगी। उन्होंने कहा, ‘‘संघवाद की अवधारणा नेताजी, ऋषि अरबिंद और विवेकानंद जैसी महान हस्तियों से आयी थी और भाजपा देश की संघीय भावना को नष्ट करने को उतारू है, जैसा कि उनके सभी कदमों से स्पष्ट है। वे बंगाल से आईएएस अधिकारियों को दिल्ली बुला रहे हैं। उन्होंने पूर्व में हमारे मुख्य सचिव को बुलाया था। वे हमारे वरिष्ठ अधिकारियों को परेशान कर रहे हैं।''

किसी पार्टी का नाम लिये बिना मुख्यमंत्री बनर्जी ने कहा कि देश के इतिहास को बदलने और बिगाड़ने की कोशिशों का विरोध किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘‘ऐसे प्रयास करने वालों से पूछा जाना चाहिए कि क्या उन्होंने नेताजी के कार्यों, उनके भाषणों को पढ़ा है। याद रखें कि आईएनए में उनके सबसे भरोसेमंद लेफ्टिनेंट मुस्लिम थे। विभाजन और नफरत की विचारधारा को बढ़ावा देने वालों को पहले गांधीजी, नेताजी और बी आर आंबेडकर के बारे में सीखना चाहिए।'' उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि स्वतंत्रता संग्राम में बंगाल के गौरवशाली इतिहास को स्कूलों में पढ़ाया जाना चाहिए।

बनर्जी ने कहा, ‘‘भारत का राष्ट्रगान रवींद्रनाथ टैगोर ने लिखा था, हमारा राष्ट्रीय गीत बंकिम चंद्र चट्टोपाध्याय ने लिखा था, जय हिंद का नारा नेताजी ने गढ़ा था। बंगाल और पंजाब ने स्वतंत्रता आंदोलन में बड़ा योगदान दिया है।'' मुख्यमंत्री ने अपनी सरकार की भविष्य की योजनाओं का जिक्र करते हुए कहा कि स्कूलों में जय हिंद वाहिनी का गठन किया जाएगा, जिसके तहत बच्चे नेताजी की विचारधारा को कायम रखते हुए लोगों की सेवा करेंगे।

मुख्यमंत्री ने अपना भाषण शुरू करने से पहले नेताजी के जन्म को उल्लेखित करने के लिए शंख बजाया, जबकि राज्य के विभिन्न हिस्सों में सायरन बजाया गया। इस अवसर पर नेताजी के पौत्र और प्रख्यात इतिहासकार सुगत बोस ने आजाद हिंद फौज का प्रतिष्ठित गीत ‘सुभाषजी सुभाषजी' गाया।

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