Edited By Pardeep,Updated: 17 Sep, 2021 01:46 AM
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने बृहस्पतिवार को दुशांबे में एससीओ की बैठक से इतर अपने चीनी समकक्ष वांग यी से मुलाकात की और इस बात पर जोर दिया कि पूर्वी लद्दाख में सैनिकों की वापसी की प्रक्रिया में प्रगति शांति बहाली के लिए आवश्यक है। जयशंकर और वांग शंघाई...
नई दिल्लीः विदेश मंत्री एस जयशंकर ने बृहस्पतिवार को दुशांबे में एससीओ की बैठक से इतर अपने चीनी समकक्ष वांग यी से मुलाकात की और इस बात पर जोर दिया कि पूर्वी लद्दाख में सैनिकों की वापसी की प्रक्रिया में प्रगति शांति बहाली के लिए आवश्यक है। जयशंकर और वांग शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की बैठकों में हिस्सा लेने के लिए दुशांबे में हैं।
जयशंकर ने ट्वीट किया, ‘‘ चीन के विदेश मंत्री से दुशांबे में एससीओ की बैठक से इतर मुलाकात हुई। अपने सीमावर्ती क्षेत्रों से सैनिकों की वापसी पर चर्चा की और यह रेखांकित किया कि शांति बहाली के लिए यह बेहद जरूरी है और यह द्विपक्षीय संबंधों में प्रगति का आधार है।''
बैठक के बाद जयशंकर ने कहा कि दोनों पक्षों ने वैश्विक घटनाक्रम पर विचारों का आदान-प्रदान किया और इस बात पर जोर दिया कि भारत सभ्यताओं के टकराव संबंधी किसी भी सिद्धांत का पालन नहीं करता। समझा जाता है कि अफ़गानिस्तान के घटनाक्रम पर भी बातचीत हुई। जयशंकर ने कहा, ‘‘ यह भी आवश्यक है कि भारत के साथ अपने संबंधों को चीन किसी तीसरे देश की निगाह से नहीं देखे।'' उन्होंने कहा, ‘‘ जहां तक एशियाई एकजुटता की बात है तो चीन और भारत को उदाहरण स्थापित करना होगा।''