Edited By Radhika,Updated: 18 Jun, 2025 04:47 PM
अहमदाबाद विमान हादसे में चमत्कारिक रूप से जीवित बचे विश्वास कुमार ने आज अपने मृत भाई को अंतिम विदाई दी, इस दौरान वे फूट-फूट कर रोते दिखे। विश्वास भी इस दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल हुए थे, जिसमें 265 लोगों की जान गई थी।
नेशनल डेस्क: अहमदाबाद विमान हादसे में चमत्कारिक रूप से जीवित बचे विश्वास कुमार ने आज अपने मृत भाई को अंतिम विदाई दी, इस दौरान वे फूट-फूट कर रोते दिखे। विश्वास भी इस दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल हुए थे, जिसमें 265 लोगों की जान गई थी। उन्होंने बताया था कि कैसे पल भर में सब कुछ उनकी आँखों के सामने खत्म हो गया। प्रधानमंत्री मोदी ने भी उनसे अस्पताल में मुलाकात की थी।
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मुझे अब भी विश्वास नहीं हो रहा कि मैं कैसे बच गया-
ब्रिटिश नागरिक विश्वास रमेश ने इस हादसे के बाद अपने बयान में कहा था कि उन्हें अब भी विश्वास नहीं हो रहा कि कैसे वह उस भयानक दुर्घटना में जीवित बच गए, जिसमें 265 लोगों की जान चली गई थी। उन्होंने बताया था कि ऐसा महसूस हुआ कि अहमदाबाद से गैटविक (लंदन) के लिए नौ घंटे की यात्रा पूरी करने के लिए विमान उड़ान भरने के कुछ ही सेकंड बाद ही रुक गया और फिर हरी व सफेद बत्तियां जल उठीं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अहमदाबाद सिविल अस्पताल में भर्ती विश्वास रमेश से मुलाकात की थी और उनका हालचाल पूछा था। डीडी न्यूज को दिए एक साक्षात्कार में लीसेस्टर निवासी रमेश ने कहा था, "यह सब मेरी आंखों के सामने हुआ। मुझे विश्वास नहीं हो रहा कि मैं कैसे बच गया। एक पल के लिए मुझे लगा कि मैं मरने वाला हूं, लेकिन जब मेरी आंखें खुलीं तो मैं जीवित था। मैंने सीट से अपनी बेल्ट खोली और बाहर निकल आया।"
एक मिनट में सब खत्म हो गया-
रमेश ने उस भयानक पल को याद करते हुए बताया था कि "मेरी आंखों के सामने एयरहोस्टेस और अंकल-आंटियों की मौत हो गई। एक मिनट के भीतर ऐसा लगा कि विमान रुक गया है। हरी और सफेद बत्तियां जल रही थीं। ऐसा लग रहा था कि वे विमान को और अधिक गति देने के लिए 'दौड़' लगा रही हैं और फिर अचानक विमान एक इमारत से टकरा गया।" उनके शब्दों में उस त्रासदी की भयावहता साफ झलकती है।