Edited By Diksha Raghuwanshi,Updated: 05 Sep, 2024 03:50 PM
धोखाधड़ी करने वाले, पैसे चुराने या अनधिकृत लेन-देन करने के लिए आधार नंबर और बैंक खाते के बीच की कड़ी का कई तरीकों से उपयोग करते हैं।
चंडीगढ़। आधार, विश्व का सबसे बड़ा बायोमीट्रिक सिस्टम है, जो भारतीयों को बायोमीट्रिक और जनसांख्यिकी जानकारी के आधार पर 12 अंकों की एक विशिष्ट पहचान प्रदान करता है। यह बैंक खाता खोलने, पासपोर्ट प्राप्त करने, सब्सिडी का लाभ उठाने, सरकारी योजनाओं के लिए आवेदन करने इत्यादि के लिए आसान प्रमाणीकरण प्रदान करता है। आधार हमारे मोबाइल नंबर से भी लिंक होता है और यह वित्तीय संस्थानों द्वारा रिटेल इन्वेस्टर्स के लिए पहचान का स्वीकृत रूप हैं।
आधार का सबसे उपयोगी फीचर OTP (वन-टाइम पासवर्ड) वेरिफिकेशन है, जो कहीं से भी आसान प्रमाणीकरण की सुविधा प्रदान करता है। हालाँकि, साइबर क्राइम के समय में, आधार का इतना आसान होना, ऐसे किसी भी व्यक्ति की पहचान को उजागर कर सकता है, जिसे अपनी पहचान को सुरक्षित रखना नहीं आता है।
धोखाधड़ी करने वाले, पैसे चुराने या अनधिकृत लेन-देन करने के लिए आधार नंबर और बैंक खाते के बीच की कड़ी का कई तरीकों से उपयोग करते हैं। वे आधार और बैंकिंग डिटेल्स को निकालने के लिए अक्सर फिशिंग अटैक, विशिंग कॉल्स, और सिम स्वैप जैसे तरीके अपनाते हैं। फिशिंग में फ्रॉड ईमेल या मैसेज शामिल हैं, जिसमें झूठ बोलकर आधार डिटेल्स, UPI पिन या संवेदनशील जानकारियाँ ले ली जाती हैं। विशिंग कॉल्स में भी ऐसा ही होता है, जिसमें फ़ोन धोखाधड़ी करने वाले फ़ोन कॉल पर स्वयं को बैंक या UIDAI का कर्मचारी बताकर, खाता वेरिफाई करने या किसी समस्या का समाधान करने के नाम पर आपकी आधार डिटेल्स, UPI पिन अथवा OTP माँगते हैं। सिम स्वैप में पीड़ित के नाम का डुप्लीकेट सिम ले लिया जाता है, जिससे कि OTP प्राप्त किया जा सके। इसके साथ ही, धोखाधड़ी करने वाले, वैध UPI सेवाओं की नक़ल करने और संवेदनशील जानकारियाँ प्राप्त करने के लिए नकली ऐप्स और वेबसाइट बनाते हैं।
खुद को आधार कार्ड धोखाधड़ी से बचाने के लिए फ़ोनपे के साइबर सिक्योरिटी एक्सपर्ट्स के कुछ महत्वपूर्ण टिप्स-
अपनी आधार जानकारियों को सुरक्षित रखने के लिए, अपनी व्यक्तिगत जानकारियाँ जैसे आधार नंबर, UPI पिन, OTP, या बैंक डिटेल्स किसी के भी साथ फ़ोन, ईमेल या SMS पर साझा न करें। आपके बैंक या पेमेंट सर्विस प्रोवाइडर से होने का दावा करने वाला कोई भी व्यक्ति जो आपसे संचार माध्यम से संपर्क करता है इसकी प्रामाणिकता को जांच लें। अपने आधार और बैंक खाते से लिंक्ड मोबाइल नंबर की सुरक्षा सुनिश्चित करें। केवल वेरिफाई ऐप स्टोर से आधिकारिक और विश्वसनीय UPI ऐप्स का ही प्रयोग करें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि के बारे में जानने के लिए अपना बैंक स्टेटमेंट और पुराने लेनदेन को देखते रहें। इसके साथ ही, अपने खाते में होने वाले गतिविधि के बारे में सूचित रहने के लिए ट्रांजेक्शन अलर्ट को चालू रखें।
यदि आपको अपने आधार या UPI पेमेंट से सम्बंधित किसी गतिविधि पर संदेह है, तो किसी भी अनधिकृत लेन-देन से बचने के लिए तुरंत अपने बैंक से संपर्क करके अपना बैंक खाता फ्रीज़ करा दें। इसके साथ ही, अपने आधार नंबर के दुरुपयोग की रिपोर्ट UIDAI से उनकी आधिकारिक वेबसाइट या हेल्पलाइन के माध्यम से करें।