बेहद कम उम्र में यह उपलब्धि हासिल कर लेते हैं इन्हीं होनहारों में से एक हैं साफिन हसन...
नई दिल्ली: हर जीवन की कहानी एक सी नहीं होती, लेकिन किसी मोड़ पर कुछ ऐसा होता है जिससे पूरी कहानी बदल जाती है। हर दिन आप सब लोग एक ऐसी हस्ती की कामयाबी की दास्तां से रूबरू होते हैं, जिसने विषम परिस्थितियों से लड़कर कामयाबी हासिल की लेकिन कुछ ऐसे भी होते हैं जो पहले ही प्रयास में और बेहद कम उम्र में यह उपलब्धि हासिल कर लेते हैं इन्हीं होनहारों में से एक हैं साफिन हसन। इन्होंने साल 2017 की यूपीएससी की परीक्षा में 570वीं रैंक हासिल की।
जानें साफिन हसन का संघर्ष से सफलता का सफर

1. कम उम्र में हासिल की बड़ी कामयाबी
साफिन हसन की कामयाबी की तमाम खूबियों में से एक उनकी उम्र भी है।उन्होंने महज 22 साल की उम्र में यूपीएससी की परीक्षा पास कर देश का नाम रोशन किया है। मात्र 22 साल की उम्र में भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी बने साफिन हसन को बतौर आईपीएस अधिकारी जामनगर में नियुक्ति दी गई है, वे 23 दिसंबर से पुलिस अधीक्षक के रूप में कार्यभार संभालेंगे।
2. पढ़ाई और करियर

गुजरात के सूरत के रहने वाले साफिन की प्राइमरी पढ़ाई सरकारी स्कूल से गुजराती मीडियम से हुई। हसन ने 10वीं में 92 प्रतिशत आए। 11वीं से अंग्रेजी सीखना शुरू किया, आगे की पढ़ाई साइंस स्ट्रीम से करनी चाही। उसी साल जिले में प्राइमरी स्कूल खुल रहा था, लेकिन फीस बहुत ज्यादा थी, पर साफिन की आधी से ज्यादा फीस माफ कर दी गई थी।
3. स्कूल में ही देखा था कलेक्टर बनने का सपना
एक बार प्राइमरी स्कूल में कलेक्टर आए तो सब उन्हें सम्मान दे रहे थे,ये देखकर साफिन को आश्चर्य हुआ। उन्होंने कलेक्टर के बारे में पूछा तो बताया गया कलेक्टर किसी जिले का राजा जैसा होता है। अच्छी पढ़ाई करके कलेक्टर बना जाता है, तभी साफिन ने कलेक्टर बनने की ठान ली।
4. घर की बिगड़ी स्थिति, माता-पिता ने की मजदूरी

साफिन के माता-पिता हीरे की यूनिट में नौकरी करते थे। साल 2000 में उनका घर बन रहा था, उसी दौरान घर की स्थिति बिगड़ने से माता-पिता की नौकरी चली गई। घर चलाने के लिए दोनों ने दिन रात मेहनत की। माता-पिता दिन में मजदूरी करते और रात में घर के लिए ईंटे ढोते। पिता ने घरों में इलेक्ट्रीशिन का काम किया। दूसरी तरफ मां ने घर-घर जाकर रोटियां पकाईं। साथ ही मात-पिता रात में ठेले पर उबले अंडे और ब्लैक टी बेचते थे।
5. आईपीएस बनता देख माता—पिता बहुत खुश

''अल्लाह का शुक्र है, अब हमारे साथ सब सही है। आगामी 23 दिसंबर को जामनगर में ASP की ड्यूटी ज्वॉइन करूंगा। बेटे को सबसे कम उम्र का आईपीएस बनता देख माता-पिता खुश हैं।''

माता-पिता के संघर्ष को देखकर साफिन समझकर वे हमेशा सोचते की उनके लिए कुछ करना है और उन्होंने अपने जज्बे को पूरा करके भी दिखाया। सपने को साकार करने के लिए साफिन ने कड़ी मेहनत के दम पर सिविल सेवा परीक्षा पास की। यह देश की चुनौतिपूर्ण परीक्षाओं में से एक है।
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