Edited By Seema Sharma,Updated: 14 Jan, 2020 02:01 PM
वैज्ञानिकों ने प्रसवोत्तर रक्तस्राव (पोस्टमार्टम हैमरेज) के कारण होने वाली मौतों को रोकने के लिए एक नई तकनीक ढूंढ ली है। इसका नाम यू.बी.टी. यानी यूटेराइन बैलून टैम्पोनैड है। वैज्ञानिकों का कहना है कि यह तकनीक प्रसवोत्तर रक्तस्राव के कारण होने वाली...
बोस्टन: वैज्ञानिकों ने प्रसवोत्तर रक्तस्राव (पोस्टमार्टम हैमरेज) के कारण होने वाली मौतों को रोकने के लिए एक नई तकनीक ढूंढ ली है। इसका नाम यू.बी.टी. यानी यूटेराइन बैलून टैम्पोनैड है। वैज्ञानिकों का कहना है कि यह तकनीक प्रसवोत्तर रक्तस्राव के कारण होने वाली मौतों को रोकने में लगभग 86 फीसदी प्रभावी है। यह अध्ययन अमेरिकन जर्नल ऑफ ऑब्सटैट्रिक्स एंड गाइनेकोलॉजी में प्रकाशित हुआ है।
भयंकर पीड़ा से गुजरती हैं महिलाएं
वैज्ञानिकों ने कहा कि बच्चे को जन्म देने के लिए मां को भयंकर पीड़ा से गुजरना पड़ता है। यह पीड़ा सिर्फ जन्म देने तक नहीं रहती, बल्कि कई मामलों में बच्चे को जन्म देने के बाद भी महिला को दर्दनाक स्थिति से गुजरना पड़ता है। उन्हीं में से एक है प्रसवोत्तर रक्तस्राव, जिसे पोस्टमार्टम हैमरेज (पी.पी.एच.) कहा जाता है।
यू.बी.टी. एक सरल तकनीक
वैज्ञानिकों ने कहा कि रक्तस्राव रोकने के लिए आधुनिक तरीके से इलाज किया जा सकता है लेकिन इसके लिए व्यापक प्रशिक्षण की जरूरत होती है जोकि दुनिया भर के बहुत कम अस्पतालों में मौजूद है। वहीं, यू.बी.टी. काफी सरल तकनीक है और 1980 के दशक से उपलब्ध है।
85.9 प्रतिशत सफल
इस तकनीक में बैलून कैथेटर (एक पतली-सी ट्यूब) से रक्तस्राव को रोका जा सकता है। वैज्ञानिकों ने परीक्षणों के बाद इसे विवादित बताया है। हालांकि कई परीक्षणों और मामलों का संयुक्त रूप से एक विश्लेषण किया गया। इसमें निष्कर्ष निकला कि यू.बी.टी. 85.9 प्रतिशत सफल है।